प्रधान न्यायाधीश ने न्यायमूर्ति एम वाई इकबाल के निधन पर शोक जताया
punjabkesari.in Friday, May 07, 2021 - 03:40 PM (IST)
नयी दिल्ली, सात मई (भाषा) प्रधान न्यायाधीश (सीजेआई) एन वी रमण ने शुक्रवार को उच्चतम न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश एम वाई इकबाल के निधन पर शोक जताया और उन्हें एक ‘‘न्यायप्रिय व्यक्ति’’ बताया जो हमेशा मानवीय मूल्यों के लिए खड़े रहे।
न्यायमूर्ति इकबाल (70) का बृहस्पतिवार रात गुरुग्राम के एक निजी अस्पताल में निधन हो गया। उनके परिवार में पत्नी, पुत्र और दो बेटियां हैं।
प्रधान न्यायाधीश की अध्यक्षता में वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से सुनवाई शुरू होने से पहले उन्होंने (प्रधान न्यायाधीनश ने) कहा कि वह न्यायमूर्ति इकबाल के निधन की खबर से सदमे में हैं।
पीठ ने कहा, ‘‘आज की कार्यवाही शुरू करने से पहले एक घोषणा करना चाहता हूं। बार एवं पीठ को यह बताते हुए बेहद दुख हो रहा है कि न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश एम वाई इकबाल का निधन हो गया है। बेहद दुखद खबर, दिवंगत आत्मा को शांति मिले।’’
अपने संदेश में प्रधान न्यायाधीश ने पूर्व न्यायमूर्ति के साथ अपने जुड़ाव को याद किया और उन्हें एक न्यायप्रिय व्यक्ति बताया जो मानवीय मूल्यों के लिए खड़े रहे। प्रधान न्यायाधीश ने शोकसंतप्त परिवार के प्रति संवेदना प्रकट की।
न्यायमूर्ति इकबाल उस पीठ के सदस्य थे जिसने अपने फैसले में भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) को सूचना का अधिकार (आरटीआई) अधिनियम के तहत पारदर्शिता कानून के दायरे में आने वाले बैंकों की जानकारी देने के लिए कहा था।
न्यायमूर्ति इकबाल की दिसंबर 2012 में शीर्ष अदालत में नियुक्ति हुई थी और 12 फरवरी 2016 में वह सेवानिवृत्त हुए थे।
मई 1996 में वह पटना उच्च न्यायालय के न्यायाधीश बने थे और बाद में 2000 में राज्य के विभाजन के बाद झारखंड के न्यायाधीश बने थे।
जून 2010 में उन्हें मद्रास उच्च न्यायालय का मुख्य न्यायाधीश नियुक्त किया गया था।
उच्चतम न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश ने अपने कॅरियर की शुरुआत 1975 में रांची में अधिवक्ता के रूप में की थी।
यह आर्टिकल पंजाब केसरी टीम द्वारा संपादित नहीं है, इसे एजेंसी फीड से ऑटो-अपलोड किया गया है।
न्यायमूर्ति इकबाल (70) का बृहस्पतिवार रात गुरुग्राम के एक निजी अस्पताल में निधन हो गया। उनके परिवार में पत्नी, पुत्र और दो बेटियां हैं।
प्रधान न्यायाधीश की अध्यक्षता में वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से सुनवाई शुरू होने से पहले उन्होंने (प्रधान न्यायाधीनश ने) कहा कि वह न्यायमूर्ति इकबाल के निधन की खबर से सदमे में हैं।
पीठ ने कहा, ‘‘आज की कार्यवाही शुरू करने से पहले एक घोषणा करना चाहता हूं। बार एवं पीठ को यह बताते हुए बेहद दुख हो रहा है कि न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश एम वाई इकबाल का निधन हो गया है। बेहद दुखद खबर, दिवंगत आत्मा को शांति मिले।’’
अपने संदेश में प्रधान न्यायाधीश ने पूर्व न्यायमूर्ति के साथ अपने जुड़ाव को याद किया और उन्हें एक न्यायप्रिय व्यक्ति बताया जो मानवीय मूल्यों के लिए खड़े रहे। प्रधान न्यायाधीश ने शोकसंतप्त परिवार के प्रति संवेदना प्रकट की।
न्यायमूर्ति इकबाल उस पीठ के सदस्य थे जिसने अपने फैसले में भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) को सूचना का अधिकार (आरटीआई) अधिनियम के तहत पारदर्शिता कानून के दायरे में आने वाले बैंकों की जानकारी देने के लिए कहा था।
न्यायमूर्ति इकबाल की दिसंबर 2012 में शीर्ष अदालत में नियुक्ति हुई थी और 12 फरवरी 2016 में वह सेवानिवृत्त हुए थे।
मई 1996 में वह पटना उच्च न्यायालय के न्यायाधीश बने थे और बाद में 2000 में राज्य के विभाजन के बाद झारखंड के न्यायाधीश बने थे।
जून 2010 में उन्हें मद्रास उच्च न्यायालय का मुख्य न्यायाधीश नियुक्त किया गया था।
उच्चतम न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश ने अपने कॅरियर की शुरुआत 1975 में रांची में अधिवक्ता के रूप में की थी।
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