फीसें न भरने वाले दलित छात्रों के शिक्षा विभाग ने रोके डी.एम.सी.

Tuesday, Jun 23, 2015 - 01:03 AM (IST)

फरीदकोट(हाली): पंजाब स्कूल शिक्षा विभाग ने फरीदकोट जिले के 100 के करीब 12वीं कक्षा के उन छात्रों के डिटेल माक्र्स सर्टीफिकेट (डी.एम.सी.) रोक लिए हैं, जिन्होंने परीक्षा से पहले बोर्ड की दाखिला फीस अदा नहीं की थी। 

जिक्रयोग्य है कि दलित छात्रों ने पोस्ट मैट्रिक स्कालरशिप स्कीम तहत फीसें भरने से इंकार कर दिया था, क्योंकि इस स्कीम के तहत दलित छात्रों की दाखिला समेत दूसरी फीस भारत सरकार ने समाज भलाई विभाग के जरिए शिक्षा विभाग को भेजनी थी, लेकिन शिक्षा बोर्ड दलित छात्रों से प्रति छात्र 1100 रुपए फीस वसूल करता रहा है, लेकिन जब इस संबंधी दलित छात्रों को पूरी जानकारी और नोटीफिकेशन मिला तो उन्होंने ये फीसें भरने से इंकार कर दिया और बड़े स्तर पर संघर्ष शुरू कर दिया। बाद में दलित छात्रों के संघर्ष आगे झुकते हुए पंजाब सरकार ने शिक्षा विभाग को 3 नवम्बर 2014 को पत्र जारी करके हिदायत दी थी कि दलित छात्रों से कोई फीस न ली जाए और यह फीस समाज भलाई विभाग द्वारा अदा की जाएगी।
 
इस फैसले और पत्र केबाद शिक्षा बोर्ड ने बिना फीस लिए सभी दलित छात्रों को परीक्षा में बैठने की आज्ञा दे दी और उनको रोल नंबर भी जारी कर दिए। अब परिणाम घोषित होने के बाद अभी तक जब इन छात्रों के सर्टीफिकेट नहीं आए तो उन्होंने बोर्ड से संपर्क किया और उन्हें पता चला कि उनके सर्टीफिकेट फीस न भरने के कारण रोक लिए गए हैं जिसके कारण ये दलित छात्र अब उच्च शिक्षा के लिए किसी भी और विभाग या शिक्षा संस्थान में अप्लाई नहीं कर सकते। सर्टीफिकेट न मिलने के कारण पीड़ित छात्र जीवनजोत कौर, सुखप्रीत कौर, दविंद्र सिंह, जगदीप सिंह और अंग्रेज सिंह ने कहा कि शिक्षा बोर्ड द्वारा उनके कार्ड न भेजे जाने केकारण उन्हें आगे दाखिला लेने में मुश्किल आ रही है क्योंकि कालेजों में दाखिला प्रक्रिया शुरू हो चुकी है और बाकी सभी छात्रों को बोर्ड ने सर्टीफिकेट भेज दिए हैं।
 
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