सरकार की अनदेखी का शिकार हुए Water Sports खिलाड़ी, कैसे जीत पाएंगे मैडल

punjabkesari.in Thursday, Jan 17, 2019 - 04:41 PM (IST)

कुल्लू (दिलीप): प्रदेश सरकार की अनेदखी के चलते प्रदेश मे वाटर स्पोर्ट्स खिलाड़ियों को आधुनिक उपकरणों के साथ अन्य सुविधाए नहीं मिल रही हैं, जिसके चलते प्रदेश के खिलाड़ी राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता में उम्दा प्रदर्शन नहीं पा रहे हैं और मध्य प्रदेश महेशवर में आयोजित चौथी राष्ट्रीय स्तरी प्रतियोगिता में हिमाचल के खिलाड़ियों ने पुराने उपकरणों के साथ अपनी तरफ से अच्छा प्रदर्शन किया पर आधुनिक उपकरण न होने के कारण खेलों में और भी अच्छा प्रदर्शन कर सकते थे लेकिन खेल विभाग व सरकार की अनदेखी के चलते वाटर स्पोर्ट्स खिलाड़ियों को नए आधुनिक उपकरण तक मुहैया नहीं करवाए गए और खिलाड़ियों को राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता में कांस्य पदक के साथ संतोष करना पड़ा।

दो दशकों से पुराने उपकरणों के साथ प्रदर्शन कर रहे खिलाड़ी

राष्ट्रीय स्तरीय प्रतियोगिता में हिमाचल प्रदेश से 3 खिलाड़ियों ने भाग लिया, जिममें कुल्लू जिला के नवीन और गिमनार व कांगड़ा से रजनीश शामिल थे। खिलाडिय़ो की मानें तो खेल विभाग व प्रदेश सरकार की अनदेखी के चलते खिलाड़ी पिछले दो दशकों से पुराने उपकरणों के साथ राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता में प्रदर्शन कर रहे हैं। प्रदेश में वाटर स्पोर्ट्स को बढ़ावा देने के लिए सरकार जिला स्तर पर सब सैंटर की स्थापना करे ताकि प्रदेश के युवा वाटर स्पोर्ट्स में राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रदेश का नाम रोशन कर सकें।

पुराने उपकरणों के साथ जीता कांस्य पदक

अंतर्राष्ट्रीय खिलाड़ी नवीन कुमार ने कहा कि मध्यप्रदेश में 6वीं राष्ट्रीय स्तरीय केनो सलालम वाटर स्पोर्ट्स चैम्पियनशिप में हिमाचल के खिलाड़ियों ने दो दशक से अधिक समय से पुराने उपकरणों के साथ प्रतियोगिता में भाग लिया, जिसमें कांस्य पदक जीता। उन्होंने कहा कि सरकार वाटर स्पोट्र्स के खिलाड़ियों को आधुनिक उपकरण उपलब्ध करवाए तो प्रदेश के खिलाड़ी राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर अच्छा प्रर्दशन कर प्रदेश व देश के लिए मैडल ला सकते हैं। उन्होंने कहा कि खिलाड़ियों के पास पुराने इक्यूवमैंट 2000 से पहले की वोटें हैं। उन्होंने कहा कि बाकि राज्यों में खिलाड़ियों को आधुनिक उपकरण दिए गए हैं, जिससे वे राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर अच्छा प्रदर्शन करते हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार खिलाड़ियों को आधुनिक उपकरण उपलब्ध करवाए तो आने वाले समय में प्रदेश के खिलाड़ी वाटर स्पोर्ट्स चैम्पियनशिप में प्रदेश के लिए मैडल ला सकते हैं।

प्रदेश में वाटर स्पोर्ट्स की अपार संभवनाए

उन्होंने कहा कि प्रदेश में वाटर स्पोर्ट्स की अपार संभवनाए हैं और यहां पर 7 नदियां हैं। अगर वाटर स्पोर्ट्स में प्रदेश सरकार खिलाड़ियों को उचित सुविधाए मुहैया करवाए तो प्रदेश में राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर के खिलाड़ी निकल सकते हैं जो प्रदेश व देश के लिए मैडल ला सकते हैं। उन्होंने कहा कि कुल्लू-मनाली में हजारों लोग राफ्टिंग में जुड़े है, ऐसे में वाटर स्पोर्ट्स में कायक और केनोइंग, सलालम, कनोई पोलो, ड्रैगन वोट, ओशीन सी कायक, फ्री स्टाइल कायक जैसे खेलों में अच्छा प्रदर्शन कर सकते हैं।

प्रदेश में जिला स्तर पर खोला जाए सब सैंटर

उन्होंने कहा कि ओलिम्पिक में 4 खेलों में मैडल दिए जाते हैं, जिससे प्रदेश में इन खेलों को बढ़ावा देने से प्रदेश से खिलाड़ी प्रदेश का नाम राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर रोशन कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि देश के बाकी राज्यों के खिलाड़ी दूसरे राज्यों में जाकर प्रैक्टिस करते हैं लेकिन हिमाचल में खिलाड़ियों को घर-द्वार पर नदियों में यह सुविधा है, अगर प्रदेश सरकार वाटर स्पोर्ट्स खिलाड़ियों  को सुविधा दे तो अच्छे खिलाड़ियों को तैयार कर देश के लिए मैडल जीत सकते हैं। उन्होंने प्रदेश सरकार से आग्रह किया है कि प्रदेश में जिला स्तर पर सब सैंटर की स्थापना कर खिलाड़ियों का पंजीकरण कर वाटर स्पोर्ट्स में आधुनिक उपकरणों के साथ प्रैक्टिस के लिए स्थान मुहैया करवाए ताकि प्रदेश के खिलाड़ी अपने प्रदेश व देश का नाम अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर चमका सकें।


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Vijay

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