अमृतसर में हादसे के बाद भी लोगों ने नहीं लिया सबक

punjabkesari.in Monday, Dec 10, 2018 - 01:58 PM (IST)

फिरोजपुर(कुमार): श्री अमृतसर में दशहरे के दिन हुआ रेल हादसा लोगों के लिए सबक होना चाहिए, क्योंकि उक्त हादसे में 60 से अधिक लोग मरे थे। इस हादसे के पीछे कारण चाहे रेलवे विभाग की लापरवाही हो या प्रशासन की नजरअंदाजी, मगर इसका एक मुख्य कारण खुद लोगों की लापरवाही भी है, क्योंकि जब लोगों को इस बात का पता है के किसी भी समय रेलवे लाइन पर रेलगाड़ी आ सकती है तो उन्हें रेल लाइनों के बीच खड़े नहीं होना चाहिए था।  
 
ऐसी ही लापरवाही अक्सर फिरोजपुर शहर और छावनी के रेलवे स्टेशनों पर देखी जा सकती है। यह जानकारी देते हुए फिरोजपुर-फाजिल्का डेली रेलवे पैसेंजर एसो. के पदाधिकारी व युवा एन.जी.ओ. जिम्मी मनचंदा ने बताया कि कुछ मिनटों की जल्दी के लिए लोग अपना और अपने बच्चों का जीवन खतरे में डाल देते हैं। उन्होंने बताया कि जब भी शहर या छावनी के रेलवे स्टेशन पर कोई भी रेलगाड़ी पहुंचती है तो लोग जल्दबाजी में एक से दूसरे प्लेटफार्म तक आने के लिए अक्सर ही रेलवे लाइनों के बीच से निकलना शुरू कर देते हैं। जबकि कुछ ही पल के बाद उसी रेलवे लाइन पर रेलगाड़ी ने चलना होता है। जिम्मी मनचंदा ने कहा कि अगर किसी कारणवंश रेलवे लाइनों को क्रॉस करते समय कोई व्यक्ति या बच्चा गिर जाए और ऊपर से रेलगाड़ी आ जाए तो किसी को भी बचाया नहीं जा सकता, क्योंकि तेज रेलगाड़ी की रफ्तार को रोकना मुश्किल हो जाता है।

उन्होंने कहा कि ऐसे वक्त में अगर कोई हादसे के लिए रेल विभाग या रेलगाड़ी के ड्राइवर को जिम्मेदार ठहराते हंै तो वह सरासर गलत होगा। जिम्मी मनचंदा ने कहा कि लोगों को अपनी जिम्मेदारी का एहसास होना चाहिए और किसी भी समय किसी भी हालात में रेलवे लाइन को क्रॉस नहीं करना चाहिए। उन्होंने कहा कि रेलवे विभाग द्वारा एक से दूसरे प्लेटफार्म तक जाने के लिए स्टेशनों पर रेलवे पुल बनाए गए हैं और यात्रियों को प्लेटफॉर्म पार करने के लिए इन पुलों का इस्तेमाल करना चाहिए और अपनी व अपने बच्चों की जिंदगी से खिलवाड़ नहीं करना चाहिए।  


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