साइबर क्राइम: Social Media पर लालच में फंस कर ठगी का शिकार हो रही युवा पीढ़ी

punjabkesari.in Wednesday, Mar 20, 2019 - 11:36 AM (IST)

शिमला (जस्टा): राजधानी शिमला अब साइबर अपराध का शिकार होती जा रही है। यहां सोशल मीडिया पर लालच में फंसकर बुजुर्ग और युवा ठगी का शिकार होने से बाज नहीं आ रहे हैं। हालांकि सोशल मीडिया पर लोगों को साइबर अपराध से बचाने के लिए साइबर क्राइम ब्रांच शिमला पहले ही अलर्ट कर चुकी है, बावजूद इसके लोग साइबर अपराध के जाल में फंसते जा रहे हैं। राजधानी की अगर बात की जाए तो यहां पर कई लोग ठगी के शिकार हो चुके हैं। लोगों के खातों से लाखों के हिसाब से पैसे ठगे जा रहे हैं। इनमें खासकर नामी कारोबारियों को ही शातिरों द्वारा चूना लगाया जा रहा है। गरीब लोगों से ठगी के मामले कम ही देखने को मिल रहे हैं। 

शातिर या तो मोबाइल पर कॉल कर बैंक की डिटेल पूछकर लोगों को ठग रहे हैं या फिर सोशल मीडिया पर विदेशी बनकर लोगों को दोस्त बनाते हैं और दोस्ती होने के बाद गिफ्ट भेजने के नाम पर या कस्टम ड्यूटी देने के नाम पर पैसा अकाऊंट में जमा करवाने को कहते हैं। लोग लालच में पड़कर ठगी का शिकार हो जाते हैं। पुलिस को इस बारे पता तभी चल पाता है जब लोग शिकायत देने के लिए पुलिस थाना में पहुंचते हैं। यहां पर सबसे बड़ी बात तो यह है कि ऑनलाइन ठगी करने वाले शातिरों का पता लगाना पुलिस के लिए भी एक तरह से चुनौती बन जाता है। जो शातिर ऑनलाइन ठगी करते हैं उन्होंने कई ई-मेल आई.डी. बनाई होती हैं और खाता नंबर भी अलग-अलग प्रकार के होते हैं। जैसे ही शातिर लोगों से अकाऊंट में पैसा मंगवा लेते हैं तो उसके बाद अपनी ई-मेल आई.डी. और खाते को बंद कर देते हैं।

इस तरह से शातिरों को पकड़ना पुलिस के लिए भी मुश्किल हो जाता है। पुलिस लोगों को जागरूक कर रही है कि ऐसे शातिरों से सावधान रहें। किसी भी प्रकार की अगर कोई अनजान व्यक्ति जानकारी लेता है तो मत बताए। अगर यह जानकारी बता दी गई तो ठगी का शिकार होना तय है। जिला शिमला की अगर बात की जाए तो यहां पर कई लोगों को शातिर ऑनलाइन ठगी का शिकार बना चुके हैं। ऐसे में अब लोगों को स्वयं ही सतर्क रहना होगा।

किसी पर शक है तो पुलिस को बताएं बैंक कर्मी

पुलिस ने शहर के सभी बैंकों को भी पहले ही निर्देश दिए हैं कि अगर किसी के खाते में कैश डालते समय कुछ गलत लगता है तो वे इसकी सूचना पुलिस को दें। अगर किसी व्यक्ति का पैसा विदेशों में रह रहे लोगों के खाते में डाला जा रहा है तो उस व्यक्ति से जरूर पूछताछ करें जो खाते में पैसा डाल रहा है। ऑनलाइन बढ़ रही ठगी को लेकर बैंक कर्मचारी भी सतर्क रहें।

‘सावधान रहें लोग’

वर्तमान में साइबर अपराध बढ़ता जा रहा है। फ्रॉड कॉल आने और ठगी का शिकार होने की शिकायतें आ रही हैं। साइबर क्राइम थाना लोगों से अपील करता है कि सोशल मीडिया पर किसी अजनबी से गिफ्ट के नाम पर पैसे जमा न करवाएं और पुलिस को सूचना दें, वहीं कुछ शातिरों द्वारा बैंक डिटेल पूछी जाती है और खाते से पैसे उड़ा लिए जाते हैं। लोगों को ऐसे शातिरों से सावधान रहना होगा।

2 नामी कारोबारियों से ठगी को लेकर कार्रवाई जारी

राजधानी में हाल ही में 2 नामी कारोबारी ठगी के शिकार हुए हैं। इनमें पहला मामला 16 मार्च को सामने आया था। यहां नामी होटलियर के खाते से 33 लाख रुपए उड़ाए गए हैं। कारोबारी के खाते से शातिरों ने 4 किस्तों में पैसा उड़ाया है, वहीं दूसरा मामला 17 मार्च को सामने आया है। मालरोड के एक कारोबारी से ब्रिटेन की एक महिला ने 6 लाख रुपए की ठगी की है। कारोबारी की यह महिला फेसबुक पर फ्रैंड बनी थी। सदर थाने के तहत दोनों मामलों में पुलिस कार्रवाई कर रही है। इससे पहले भी जिला शिमला में कई लोगों को ऑनलाइन ठगी का शिकार बनाया गया है।

बचना है तो ऐसा न करें

- कभी भी अपनी पर्सनल इन्फॉर्मेशन जैसे अकाऊंट नंबर, कार्ड नंबर, सी.सी.एन. नंबर, वन टाइम पासवर्ड व एक्सपायरी डेट किसी से भी शेयर न करें।
- यह बेहतर ढंग से जान लें कि कोई भी बैंक या फाइनांशियल संस्थान मेल या फोन से अकाऊंट संबंधी इन्फॉर्मेशन नहीं मांगता।
- अपने ए.टी.एम. कार्ड पर मौजूद सी.सी.वी. नंबर को मिटा दें, उसे याद रखें। यह नंबर ऑनलाइन बैंकिंग या ई-कॉमर्स एक्टीविटी में काम आता है।
- कई लोग ज्यादा ए.टी.एम. व क्रेडिट कार्ड रखना स्टेटस सिंबल मानते हैं और उनके पिन नंबर याद रखने के लिए उन्हें कार्ड पर ही लिख लेते हैं। ए.टी.एम. कार्ड खोने की स्थिति में यह बहुत हानिकारक साबित हो सकता है।
- क्रैडिट या ए.टी.एम. कार्ड पर स्थित व्हाइट स्ट्रिप पर अपने साइन जरूर करें। किसी भी स्थिति में वैंडर को सीधे अपना कार्ड न दें। स्वयं साथ जाएं और अपना ट्रांजैक्शन पूरा करें।
- साइबर कैफे में यदि आप किसी जॉब या एग्जाम के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करवाने जा रहे हैं तो फार्म खुद भरें। अमूमन यूथ ऐसा नहीं करते। इससे धोखाधड़ी हो सकती है। साइबर कैफे ऑनर से बैंकिंग इन्फॉर्मेशन साझा न करें।
- सोशल मीडिया पर अगर कोई दोस्त बनता है और वह विदेशी है तो उससे सावधान रहें। पैसे मांगने पर उसे पैसे न दें।
- अगर आपको कॉल आती है कि आपने ईनाम जीता है और आपको इतने पैसे जमा करवाने होंगे तो ऐसे मामले में कभी भी पैसा जमा न करवाएं और न बैंक डिटेल दें।


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Ekta

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