Yamuna Expressway Accidents: तेज रफ्तार और लापरवाही ने बनाया यमुना एक्सप्रेसवे को मौत का जाल, 2025 में 113 लोगों ने गंवाई जान

punjabkesari.in Monday, Dec 29, 2025 - 12:36 PM (IST)

नेशनल डेस्क: यमुना एक्सप्रेसवे पर रोजाना लगभग 30 हजार वाहन गुजरते हैं, लेकिन नियमों की अनदेखी और तेज रफ्तार ने इसे दुर्घटनाओं के लिए बेहद संवेदनशील बना दिया है। एक्सप्रेसवे पर अधिकतम गति सीमा 75 किलोमीटर प्रति घंटा तय है और वाहनों के बीच कम से कम 70 मीटर की दूरी बनाए रखना अनिवार्य है। बावजूद इसके, अधिकांश चालक इन सुरक्षा नियमों की उपेक्षा कर रहे हैं। खासकर सर्दियों में कोहरे के दौरान दृश्यता शून्य तक गिर जाती है, जिससे टक्कर और पलटने की घटनाओं में तेजी आती है। वर्ष 2025 में यमुना एक्सप्रेसवे पर सड़क सुरक्षा की स्थिति बेहद चिंताजनक हो गई है। अब तक 1,198 हादसे दर्ज किए जा चुके हैं, जिनमें 113 लोगों की जानें जा चुकी हैं और 562 लोग घायल हुए हैं। तेज रफ्तार, वाहन के बीच दूरी न बनाए रखना और लापरवाही इस भयावह स्थिति के मुख्य कारण माने जा रहे हैं।

दुर्घटनाओं का बढ़ता ग्राफ

आंकड़े बताते हैं कि यमुना एक्सप्रेसवे पर हादसों की संख्या लगातार बदलती रही है:

  • 2017: 763 हादसे, 146 मौतें

  • 2018: 659 हादसे, 111 मौतें

  • 2019: 560 हादसे, 195 मौतें

  • 2020: 509 हादसे, 122 मौतें

  • 2021: 424 हादसे, 136 मौतें

  • 2022: 303 हादसे, 106 मौतें

  • 2023: 411 हादसे, 95 मौतें

  • 2024: 528 हादसे, 112 मौतें

लेकिन 2025 में साल पूरा भी नहीं हुआ और अब तक 1,198 हादसों की रिपोर्ट दर्ज हो चुकी है, जो सुरक्षा की गंभीर स्थिति को स्पष्ट रूप से दर्शाता है।

हादसों की वजहें

विशेषज्ञों का मानना है कि एक्सप्रेसवे पर तेज रफ्तार, नींद में कमी, वाहनों के बीच पर्याप्त दूरी न रखना और भारी वाहनों की संख्या ज्यादा होना मुख्य कारण हैं। इन फैक्टर्स के चलते टकराव और सड़क पर पलटने की घटनाएं लगातार बढ़ रही हैं।

सुरक्षा के लिए उठाए जा रहे कदम

यमुना एक्सप्रेसवे टोल प्रशासन ने सुरक्षा बढ़ाने के लिए कई उपाय शुरू किए हैं:

  • रात में भारी वाहन चालकों को मुफ्त चाय दी जा रही है।

  • चालक सुरक्षा के लिए जानकारी पर्चे वितरित किए जा रहे हैं।

  • हल्के वाहनों के लिए गति सीमा 75 किमी/घंटा, भारी वाहनों के लिए 60 किमी/घंटा तय की गई है।

  • बड़े वाहनों पर रिफ्लेक्टर टेप लगाया जा रहा है।

  • जरूरत के हिसाब से सुरक्षा सुविधाओं में सुधार किया जा रहा है।

भविष्य में बढ़ सकता है यातायात दबाव

नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट, जेवर के संचालन के बाद यमुना एक्सप्रेसवे पर यातायात का दबाव और बढ़ने की संभावना है। ऐसे में यदि वाहन चालक नियमों का पालन नहीं करेंगे, तो दुर्घटनाओं की संख्या और बढ़ सकती है। विशेषज्ञों का कहना है कि सेफ डिस्टेंस और निर्धारित गति का पालन ही दुर्घटनाओं को रोकने का सबसे कारगर उपाय है।


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Content Editor

Anu Malhotra

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