लेह-लद्दाखः न्यायाधीश ने पूछा, कोर्ट में लद्दाख का सरकारी पक्ष कौन रखेगा

Thursday, Nov 21, 2019 - 06:49 PM (IST)

नेशनल डेस्कः हाईकोर्ट में लेह और लद्दाख से संबंधित मामलों पर सरकरा का पक्ष रखने वाला कोई सरकारी वकील नहीं है। इसकी वजह से कोर्ट में मामलों की जांच भी प्रभावित हो रही है। ऐसे बहुत से मामले सामने आए हैं। इसी तरह के एक मामले को लेकर हाईकोर्ट में याचिका दायर की गई है।

कोर्ट ने लद्दाख यूनियन टेरेटरी के मुख्य सचिव और सलाहकार को आदेश जारी कर पूछा है कि कोर्ट में सरकार का पक्ष रखने के लिए किसे नियुक्त किया है या क्या व्यवस्था है पर स्थिति स्पष्ट करेंगे। जस्टिस अली मोहम्मद मागरे ने मंगलवार को हसीना बानो और अन्य की दायर याचिका पर यह आदेश दिया।

जज ने माना कि जब अपीलकर्ता ने रिट याचिका दायर की। तब प्रतिवादी पक्ष का प्रशासनिक नियंत्रण तकनीकी शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव के अधीन था। अपीलकर्ता का राहत क्लेम लद्दाख ऑटोनॉमस हिल डेवलपमेंट काउंसिल और लेह लद्दाख पालीटेक्निक कॉलेज के खिलाफ है।

मंगलवार को जब यह मामला सुनवाई के लिए आया तो सरकारी वकील रैस उद दिन गेनेई ने कोर्ट में कहा कि लद्दाख खित्ते से संबंधित मामलों का सरकारी पक्ष रखने के लिए किसे नियुक्त किया गया है। जम्मू कश्मीर पुनर्गठन एक्ट में लद्दाख के सभी मामले लेफ्टिनेंट गवर्नर के अधीन हैं। जज ने कहा कि कोर्ट ऐसे बहुत से मामलों में दिक्कत महसूस कर रहा है।

Yaspal

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