PM मोदी ने जब लोकसभा में सुनाए शेर-कविता और किस्से, तालियों से गूंज उठा सदन

Thursday, Feb 06, 2020 - 03:54 PM (IST)

नेशनल डेस्कः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को विपक्ष‍ को खूब खरी-खरी सुनाई। लोकसभा में  मोदी ने राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा का जवाब देते हुए विपक्ष पर किस्से, कविता और शेर के जरिए तंज कसा। प्रधानमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार लीक से हटकर, नई लकीर बनाकर तेज गति से काम रही है और जनता ने जिस विश्वास के साथ उन्हें सत्ता सौंपी है उस पर खरा उतरने के लिए सभी लम्बित कामों को गति के साथ पूरा कर रही है।  
इस दौरान पीएम मोदी ने हिंदी के प्रसिद्ध कवि सर्वेश्वर दयाल सेक्सेना की एक कविता सुनाई-


लीक पर वे चलें, जिनके चरण दुर्बल और हारे हैं।
हमें तो जो हमारी यात्रा से बने
ऐसे अनिर्मित पथ ही प्यारे हैं

 

वहीं शाहीन बाग पर बोलते हुए पीएम मोदी ने कहा कि सब जानते हैं कि कौन और क्यों करवा रहा है यह सब। जनता सब जानती है कि क्या हो रहा है।
शाहीन बाग पर पीएम मोदी ने उर्दू शायर दाग़ देहलवी का ये शेर भी पढ़ा
 
ख़ूब पर्दा है, कि चिलमन से लगे बैठे हैं।

साफ़ छुपते भी नहीं, सामने आते भी नहीं!!

ये पब्लिक सब जानती है। समझती है

 

जब सुनाया ट्रेन का किस्सा
पीएम मोदी के निशाने पर कांग्रेस नेता अधीर रंजन और राहुल गांधी रहे। दरअसल भाजपा सांसद अनंत हेगड़े के गांधी पर दिए विवादित बयान को लेकर अधीर रंजन मोदी को परोक्ष रूप से यह नारे सुना रहे थे। इस पर पीएम मोदी ने चुटकी लेते हुए कहा कि बस इतना ही? इस पर अधीर रंजन उठे और जवाब देते हुए कहा कि यह तो बस ट्रेलर है? हाजिरजवाब प्रधानमंत्री ने भी तुरंत जवाब देते हुए कहा कि आपके लिए गांधी जी ट्रेलर हो सकते हैं, हमारे लिए जिंदगी हैं। इसके बाद मोदी ने 'अधीर पर 'खा रबड़ी कर कसरत' के तंज के लिए ट्रेन में साधु, मौलवी, पलवान का किस्सा सुनाया। पीएम मोदी ने कहा कि कल यहां स्वामी विवेकानंद के कंधों से बंदूकें फोड़ी गईं। आपने रिकॉर्ड से निकाल दिया है, इसलिए जिक्र नहीं करूंगा। इस पर एक किस्सा सुनाऊंगा- एक बार कुछ लोग रेल में सफर कर रहे थे। रेल जैसे गति पकड़ती थी, तो पटरी से आवाज आती। वहां बैठे हुए एक संत महात्मा बोले कि देखो पटरी में से कैसी आवाज आ रही है। यह बेजान पटरी भी हमें कह रही है- प्रभु कर दे बेड़ा बार। दूसरे संत ने कहा कि मैंने यह सुना नहीं। मुझे तो यह सुनाई दे रहा है- प्रभु तेरी लीला अपरंपार। वहां बैठे मौलवी ने कहा कि उन्हें कुछ और ही सुनाई दिया। मौलवी ने कहा कि मैं सुन रहा हूं-अल्लाह तेरी रहमत। तभी वहां मौजूद पहलवान ने कहा कि मुझे तो सुनाई दे रहा है- खा रबड़ी कर कसरत। खा रबड़ी कर कसरत। पीएम मोदी ने कहा कि जैसे मन की रचना होती है, वैसे ही हमें सुनाई देता है। आपके यह देखने के लिए इतनी दूर करने की जरूरत नहीं थी, बहुत कुछ पास में है।

 

शशि थरूर जी आप तो कश्मीर के  'दामाद' हैं
कश्मीर भारत का ‘‘मुकुटमणि'' है जिसकी पहचान बम, बंदूक और अलगाववाद की बना दी गई थी। हमारी सरकार ने क्षेत्र में शांति और तीव्र विकास के लिए अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को समाप्त किया। पीएम मोदी ने कहा कि कांग्रेस के समय में संविधान की क्या स्थिति थी, लोगों के अधिकार की स्थिति क्या थी, यह मैं पूछना चाहता हूं। अगर संविधान इतना अहम मानते थे तो जम्मू-कश्मीर में हिंदुस्तान का संविधान को किसने रोका। इस संविधान से दिए अधिकारों से वंचित करने का पाप किसने किया। (शशि थरूर से मुखातिब होते हुए) पीएम मोदी ने पूछा कि शशि जी आप तो जम्मू कश्मीर के दामाद रहे। उन बेटियों की चिंता करते। आप संविधान की बात करते हो।

Seema Sharma

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