महिला की कथित खुदकुशी मामले में सच्चाई और कानून अक्षुण्ण रहेंगे: संजय राउत

Sunday, Feb 14, 2021 - 07:01 PM (IST)

मुम्बईः महाराष्ट्र के एक मंत्री का पुणे में एक महिला की मौत से संबंध होने के आरोपों के बीच शिवसेना के सांसद संजय राउत ने रविवार को कहा कि राजनीति में चरित्र हनन के दृष्टांत रहे हैं लेकिन इस मामले में ‘‘सच्चाई एवं कानून'' अक्षुण्ण रहेंगे। सोशल मीडिया पर किये गये कुछ पोस्ट में दावा किया गया है कि पुणे के हदापसार क्षेत्र में आठ फरवरी को एक भवन से गिरकर मरने वाली 23 वर्षीय इस महिला का राज्य में किसी कैबिनेट मंत्री के साथ संबंध था। भाजपा का भी कुछ ऐसा ही दावा है।

शिवसेना, कांग्रेस और राकांपा की महा विकास अघाड़ी सरकार के अगुवा मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे पहले ही विस्तृत जांच और दोषी के विरूद्ध कार्रवाई का वादा कर चुके हैं। राउत ने नासिक में संवाददाताओं से कहा, ‘‘ इस मामले में कानून अपना काम करेगा , न कि वैसा होगा, जैसा विपक्ष चाहता है। सच्चाई हमेशा सर्वोपरि रहेगी। मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे पहले ही कह चुके हैं कि मामले की जांच चल रही है। (शिवसेना के प्रमुख) ठाकरे एक संवेदनशील व्यक्ति हैं और वह कभी कुछ गलत नहीं करेंगे। राज्य के लोग उन पर भरोसा करते हैं।'' वनवाडी पुलिस ने दुर्घटनावश मौत का मामला दर्ज किया है और उसका कहना है कि कोई सुसाइड नोट नहीं मिला है।

राउत ने कहा कि हाल ही में एक महिला ने राकांपा नेता और मंत्री धनंजय मुंडे पर आरोप लगाये थे और बाद में उसने आरोप वापस ले लिये। उन्होंने कहा, ‘‘ अब अन्य मंत्री संजय राठौड़, जो विदर्भ क्षेत्र (पूर्वी महाराष्ट्र) में शिवसेना के स्तंभों में एक हैं, के विरूद्ध कुछ आरोप लगाये गये हैं। जांच के बाद सच्चाई सामने आयेगी। लेकिन राजनीति में राजनीतिक प्रतिद्वंद्वियों के चरित्र हनन एवं छवि भंजन के दृष्टांत रहे हैं। और ऐसा माना जाता है कि व्यक्ति (ऐसे तरीके से) राजनीति में सफलता हासिल कर सकता है। लेकिन सच्चाई नहीं बदलती।''

किसी का नाम लिये बगैर भाजपा पर कटाक्ष करते हुए राउत ने कहा कि कथित आत्महत्या में जांच कानून के अनुसार होगी न कि उस तरह जैसा विपक्ष चाहता है। उन्होंने कहा, ‘‘ महाराष्ट्र ऐसा स्थान है जहां कानून का शासन है।'' इससे पहले दिन में महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस ने कहा था कि महाराष्ट्र पुलिस को पुणे में 23 साल की एक महिला द्वारा की गयी कथित खुदकुशी के मामले में स्वत: संज्ञान लेते हुए कार्रवाई करनी चाहिए। उन्होंने सवाल किया था कि पुलिस इस मामले में किसी प्रकार के दबाव में तो नहीं है। शनिवार को एक भाजपा नेता ने मांग की थी कि मुख्यमंत्री ठाकरे इस मामले की जांच के लिए एक आईपीएस अधिकारी एवं सेवानिवृत न्यायाधीश वाला एक विशेष जांच दल बनायें।

जब राउत से पूछा गया कि क्या महा विकास अघाड़ी सरकार और राज्यपाल बी एस कोश्यारी के बीच ‘शीतयुद्ध' है तो उन्होंने कहा, ‘‘ यह कोई शीतयुद्ध नहीं बल्कि खुली जंग है। भाजपा राज्यपाल के कंधों का इस्तेमाल करके एमवीए सरकार को निशाना बना रही है। राजभवन का राजनीति के लिए इस्तेमाल किया जा रहा है।'' शिवसेना नेता ने कहा कि राज्यपाल के लिए राज्य मंत्रिमंडल की सिफारिशें स्वीकार करना अनिवार्य है लेकिन वह ‘राजनीतिक दबाव ' में हैं। शिवसेना नीत सरकार और कोश्यारी के बीच विभिन्न मुद्दों पर टकराव चलता रहा है।

राज्यपाल ने महाराष्ट्र विधानपरिषद के सदस्य के तौर पर नामांकन के लिए सरकार द्वारा भेजे गये 12 नामों को अब तक मंजूरी नहीं दी है। हाल ही में बृहस्पिवार को टकराव तब सामने आया जब राज्यपाल को मुम्बई से बाहर की यात्रा करने के लिए आखिरी घड़ी में राज्य सरकार के विमान का उपयोग नहीं करने दिया गया।

Yaspal

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