प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का 75वां जन्मदिन आज, जानिए उनके बचपन से जुड़ीं 5 अनसुनी कहानियां
punjabkesari.in Wednesday, Sep 17, 2025 - 12:26 AM (IST)

नेशनल डेस्कः आज, 17 सितंबर 2025 को देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र दामोदरदास मोदी अपना 75वां जन्मदिन मना रहे हैं। उनका जन्म 17 सितंबर 1950 को गुजरात के वडनगर शहर में हुआ था। एक सामान्य परिवार से आने वाले नरेंद्र मोदी आज विश्व मंच पर भारत का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं और एक सशक्त, आत्मनिर्भर भारत की कल्पना को साकार करने में जुटे हैं।
उनके पिता दामोदर दास मूलचंद मोदी वडनगर रेलवे स्टेशन पर चाय बेचते थे और उनकी मां हीराबेन मोदी, एक घरेलू महिला थीं। नरेंद्र मोदी छह भाई-बहनों में से एक हैं। उनकी प्रारंभिक जीवन यात्रा संघर्षों से भरी रही, लेकिन दृढ़ निश्चय और परिश्रम के बल पर उन्होंने खुद को देश के सर्वोच्च पद तक पहुंचाया।
आइए आज उनके जन्मदिन के मौके पर जानते हैं नरेंद्र मोदी के बचपन से जुड़ीं कुछ दिलचस्प और अनसुनी बातें, जो उन्हें एक आम इंसान से एक वैश्विक नेता तक ले गईं।
1. आजाद भारत में जन्मे पहले प्रधानमंत्री
नरेंद्र मोदी देश के पहले ऐसे प्रधानमंत्री हैं जिनका जन्म भारत की आजादी के बाद हुआ। उन्होंने राजनीति में अपने कदम राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) से जुड़े एक स्वयंसेवक के रूप में रखे। बाद में भाजपा से जुड़े और 2001 में गुजरात के मुख्यमंत्री बने। उसके बाद 2014, 2019 और 2024 में लगातार तीन बार देश के प्रधानमंत्री बने। यह अपने आप में एक ऐतिहासिक उपलब्धि है।
2. बचपन में क्या था उनका नाम?
नरेंद्र मोदी के बचपन के कई नाम थे। उनके स्कूल शिक्षक प्रह्लाद पटेल ने एक इंटरव्यू में बताया था कि वे मोदी को प्यार से "नरिया" कहकर बुलाते थे। वहीं उनके बचपन के दोस्त जासूद भाई ने बताया कि दोस्त उन्हें "एनडी" कहकर पुकारते थे। मोदी हमेशा से सच बोलने वाले और आत्मविश्वासी छात्र रहे।
3. बचपन में सेना में जाना चाहते थे मोदी
नरेंद्र मोदी का सपना था कि वे बड़े होकर भारतीय सेना में जाएं। उन्होंने बचपन में जामनगर स्थित सैनिक स्कूल में दाखिला लेने की कोशिश की थी, लेकिन आर्थिक स्थिति के कारण वे इसमें दाखिला नहीं ले सके। इसके बावजूद, उन्होंने आठ साल की उम्र में ही RSS से जुड़कर देश सेवा की राह चुन ली थी।
4. एक्टिंग का था खास शौक
बहुत कम लोग जानते हैं कि प्रधानमंत्री मोदी को बचपन में नाटक और अभिनय का बहुत शौक था। 13-14 साल की उम्र में उन्होंने अपने स्कूल के लिए फंड जुटाने के मकसद से एक गुजराती नाटक 'पीलू फूल' में भाग लिया था। यह शौक उनके आत्मविश्वास को बढ़ाने और सार्वजनिक जीवन में आने की नींव बना।
5. पतंगबाजी और समय की पाबंदी
गुजरात में मुख्यमंत्री रहते हुए मोदी ने अंतरराष्ट्रीय पतंग महोत्सव की शुरुआत की थी। आज भी उन्हें पतंग उड़ाना बेहद पसंद है। इसके अलावा वे समय के बेहद पाबंद माने जाते हैं। एक इंटरव्यू में उन्होंने बताया था कि योग और ध्यान उनके जीवन का अभिन्न हिस्सा हैं और यही उन्हें शारीरिक और मानसिक रूप से सशक्त बनाता है।
आज देश मना रहा है अपने प्रिय नेता का जन्मदिन
प्रधानमंत्री मोदी के जन्मदिन पर देशभर में सेवा पखवाड़ा, रक्तदान शिविर, वृक्षारोपण अभियान और सामाजिक कार्यों का आयोजन किया जा रहा है। भाजपा कार्यकर्ता इस दिन को "सेवा दिवस" के रूप में मनाते हैं। कई अंतरराष्ट्रीय नेता, हस्तियां और आम नागरिक भी उन्हें बधाइयां दे रहे हैं।