मां-बाप बने हैवान! सरकारी नौकरी बचाने के लिए नवजात बच्चे को जंगल में छोड़ा
punjabkesari.in Friday, Oct 03, 2025 - 07:16 PM (IST)

नेशनल डेस्क: मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा जिले से इंसानियत को झकझोर देने वाला मामला सामने आया है। यहां एक शिक्षक दंपति ने अपनी सरकारी नौकरी बचाने के लिए हैवानियत की सारी हदें पार कर दीं। उन्होंने अपने ही चौथे नवजात शिशु को जंगल में छोड़ दिया।
जंगल से रोने की आवाज आई तो खुला राज
घटना का खुलासा तब हुआ जब एक बाइक सवार को जंगल से बच्चे के रोने की आवाज सुनाई दी। उसने तुरंत पुलिस को सूचना दी। पुलिस मौके पर पहुंची और नवजात को सुरक्षित बाहर निकालकर अस्पताल में भर्ती कराया। इसके बाद जांच शुरू हुई तो हैरान करने वाली सच्चाई सामने आई।
सरकारी नियम के डर से उठाया खौफनाक कदम
दरअसल, आरोपी दंपति को डर था कि चौथे बच्चे के जन्म के बाद उनकी सरकारी नौकरी खतरे में पड़ जाएगी। मध्यप्रदेश सिविल सेवा नियमों के अनुसार, 26 जनवरी 2001 के बाद यदि किसी सरकारी कर्मचारी का तीसरा बच्चा जन्म लेता है, तो वह नौकरी के लिए अयोग्य हो जाता है। इसी डर से अमरवाड़ा तहसील के सिधौली प्राथमिक विद्यालय में कार्यरत शिक्षक दंपति ने बच्चे को नंदनवाड़ी-तहतोरी जंगल में छोड़ दिया।
पुलिस ने किया गिरफ्तार, मिली जमानत
पुलिस ने जांच के बाद दंपति की पहचान बबलू डंडोलिया (38) और राजकुमारी डंडोलिया (28) के रूप में की। दोनों को गिरफ्तार कर अदालत में पेश किया गया, जहां से बाद में उन्हें जमानत मिल गई।
शिक्षा विभाग ने मांगे रिकॉर्ड
खंड शिक्षा अधिकारी ने बताया कि पूरे मामले की जांच चल रही है। वहीं जिला शिक्षा अधिकारी ने दंपति की नियुक्ति से संबंधित सभी रिकॉर्ड मंगवाए हैं और कहा है कि जांच पूरी होने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।