5 किस्‍से जब भारतीयों के लिए ''संकटमोचक'' बनीं सुषमा स्वराज

Thursday, Aug 06, 2020 - 11:02 AM (IST)

नेशनल डेस्क: भाजपा की वरिष्ठ नेता और पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज के स्नेहमयी और सभी का ध्यान रखने वाली छवि को भुलाया नहीं जा सकता। सुषमा स्वराज की आज पहली पुण्यतिथि है। सुषमा स्वराज का आज ही के दिन 6 अगस्त 2019 को हार्ट अटैक से निधन हो गया था।  बतौर विदेश मंत्री उन्होंने कई ऐसे फैसले लिए जिससे भारत ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया उनकी मुरीद हो गई। चाहे शादी से ठीक पहले पासपोर्ट खो जाने का मामला हो या फिर यमन में फंसे हजारों भारतीयों की जिंदगी का सवाल हो, हर परिस्थिति में सुषमा स्वराज भारतीयों के लिए संकटमोचन बनकर सामने आईं।



यमन में चलाया 'ऑपरेशन राहत' 
साल 2015 में युद्धग्रस्त यमन में जब विद्रोहियों और यमन सरकार के बीच जंग छिड़ी तो वहां काम कर रहे हजारों भारतीय इस जंग के बीच में फंस गए। जब भारतीयों ने विदेश मंत्री से मदद मांगी तो उन्होंने फौरन एक्‍शन लेते हुए विदेश राज्‍य मंत्री और पूर्व आर्मी चीफ वीके सिंह को यमन भेजा गया। फिर भारत सरकार ने वायुसेना के जरिए यमन में 'ऑपरेशन राहत' चलाकर इस अभियान में न सिर्फ अपने 4640 देशवासियों को वहां से सुरक्षित बाहर निकाला, बल्कि 2000 के लगभग 48 अन्य देशों के लोगों को भी बचाने में कामयाबी हासिल की। 

पाकिस्तान की जेल से हामिद को निकाल लाई थीं बाहर 
हामिद अंसारी पाकिस्तानी जेल में 6 साल बिताकर पिछले साल दिसंबर में ही भारत लौटे थे। मुंबई निवासी अंसारी कथित तौर पर ऑनलाइन दोस्त बनी लड़की से मिलने के लिए 2012 में अफगानिस्तान के रास्ते पाकिस्तान चला गया था। बिना वीजा के पाकिस्तान में घुसने की सजा में उसे पाकिस्तान में गिरफ्तार कर लिया जाता है। सजा पूरी करने के 3 साल बाद भी उन्हें पाकिस्तान की जेल से रिहाई नहीं मिली थी। सुषमा की पहल पर हामिद अंसारी 18 दिसंबर 2018 को स्वदेश लौटा। भारत लौटने के बाद अंसारी अपने माता-पिता के साथ विदेश मंत्रालय के दफ्तर में सुषमा स्वराज से मिलने गये थे। जहां अंसारी की मां ने सुषमा स्वराज को 'मेरी मैडम महान' कहा था। 


‘हनीमून कपल’ की मदद के लिए आगे आईं सुषमा
हनीमून में अकेले गए एक शख्स के लिए भी सुषमा सवराज ने मदद का हाथ बढ़ाया था। दरअसल दिल्ली के रहने वाले फैजान पटेल ने अपनी पत्नी के साथ यूरोप में हनीमून मनाने का प्लान बनाया था। यूरोप के लिए दोनों का टिकट भी बुक हो चुका था। लेकिन ट्रिप पर जाने से दो दिन पहले ही फैजान की पत्नी सना का पासपोर्ट खो गया। जिसके बाद फैजान पटेल अकेला ही हनीमून पर निकल गए। साथ ही उसने अपनी पत्नी के फोटो के साथ अपनी एक तस्वीर सुषमा स्वराज को टैग कर ट्वीट कर दी। फैजान ने लिखा कि मैं फिलहाल इस तरह अपनी पत्नी के साथ सफर कर रहा हूं।फैजान के ट्वीट पर सुषमा ने जवाब देते हुए कहा कि अपनी पत्नी से कहिए कि मुझसे संपर्क करेंगी। मुझे यकीन है कि वो अगली सीट पर आपके साथ होंगी।


पाक से वापस ले आई थी भारत ​की बेटी को 
26 अक्टूबर 2015 को सुषमा स्वराज के प्रयासों की वजह से ही मूक-बधिर लड़की गीता की एक दशक के बाद पाकिस्तान से स्वदेश वापसी हो सकी थी। गीता भटककर पाकिस्‍तान जा पहुंची थी, उसके परिवार की तलाश में विदेश मंत्रालय ने खूब प्रयास किए। सुषमा ने अपील करते हुए कहा था कि जो भी गीता के मां बाप हों सामने आएं। उन्होंने कहा था कि मैं इस बेटी को बोझ नहीं बनने दूंगी। इसकी शादी, पढ़ाई की सारी जिम्मेदारी हम उठाएंगे।

कुलभूषण जाधव को मिलवाया परिवार से
यह सुषमा स्वराज का ही दमखम था कि भारतीय नागरिक कुलभूषण जाधव पर पाकिस्तान को कड़ी चेतावनी और चुनौती दी। उन्हीं के प्रयासों का नतीजा था कि पाक कुलभूषण से उनकी मां और पत्नी को मिलवाने के लिए बाध्य हुआ। सुषमा ने स्पष्ट शब्दों में कहा था कि जाधव को बचाने के लिए जो कुछ भी करना पड़े वह किया जाएगा। जाधव को मौत की सजा होने के तीन घंटे के भीतर सरकार सक्रिय हो गई और यह मामला पाकिस्तान से उच्च स्तर पर उठाया गया। इसके लिए विदेश सचिव एस. जयशंकर ने पाकिस्तानी उच्चायुक्त को तलब किया और उन्हें भारत की कड़ी प्रतिक्रिया से अवगत कराया गया। जब पाकिस्तान में कुलभूषण की पत्नी और मां के साथ हुए दुर्व्यवहार की खबरें आई तो सुषमा ने कड़े शब्दों में पाकिस्तान को आड़े हाथों लिया।

Anil dev

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