कश्मीर पहुंचें गृहमंत्री, मुख्यमंत्री और राज्यपाल से की मुलाकात

Saturday, Sep 09, 2017 - 06:09 PM (IST)

श्रीनगर : जम्मू-कश्मीर के चार दिवसीय दौरे पर पहुंचे गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने आज कहा कि वह खुले दिमाग के साथ आए हैं और राज्य की समस्याओं का हल तलाशने में सरकार की मदद करने वाले किसी भी व्यक्ति से मिलने के लिए तैयार हैं।
केन्द्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने जम्मू कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती से कानून  व्यवस्था की स्थिति और घाटी में सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए उठाए जाने वाले  कदमों समेत अन्य महत्वपूर्ण मसलों पर चर्चा की।
इस दौरे पर राजनाथ के साथ केंद्रीय गृह सचिव राजीब गाबा और अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी हैं। राजनाथ दो दिन घाटी में जबकि दो दिन जम्मू क्षेत्र में बिताएंगे।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि सिंह श्रीनगर पहुंचने के बाद सीधे चेश्मशाही के नेहरू गेस्ट हाउस गए जहां उन्होंने मुफ्ती से मुलाकात की। मुफ्ती ने केन्द्रीय गृहमंत्री को राज्य की कानून एवं व्यवस्था खासकर घाटी की मौजूदा स्थिति से अवगत कराया जहां गत एक माह से जारी ोहसा में कम से कम 27 आतंकवादी मारे गए हैं और सुरक्षाबल के कई जवान शहीद हुए हैं। सूत्रों के मुताबिक दोनों नेताओं ने घाटी में सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए उठाए जाने वाले आवश्यक कदमों पर भी विस्तार से चर्चा की।
राजनाथ का दक्षिण कश्मीर के अनंतनाग जिले में खानबल जाने का भी कार्यक्रम है जहां वह सीआरपीएफ और पुलिस के अधिकारियों से बातचीत करेंगे। दक्षिण कश्मीर पिछले डेढ़ साल से हिंसा से जूझ रहा है और वहां सुरक्षाबलों तथा आतंकवादियों के बीच कई मुठभेड़ हुई है। उन्होंने बताया कि सिंह चार दिवसीय दौरे के दौरान राजौरी जिले के नौशेरा और जम्मू भी जाएंगे।

महत्वपूर्ण माना जा रहा है दौरा
कश्मीर के बदले हुए हालात और समस्या के समाधान के लिए प्रधानमंत्री की नई अपील के मद्देनजर राजनाथ सिंह के इस दौरे को अहम माना जा रहा है। इसे कश्मीर में स्थायी शांति के लिए रणनीति के दूसरे चरण की शुरूआत के रूप में भी देखा जा रहा है। यात्रा के दौरान वे घाटी में बदले हुए सुरक्षा के हालात का जायजा लिया।
गृह मंत्री ने श्रीनगर में पी.एम.डी.पी. योजना के क्रियान्वयन की भी समीक्षा की। बता दें कि पी.एम.डी.पी. के अंतर्गत 63 अन्य परियजनाएं शामिल हैं, जिसकी कुल लागत 80ए068 करोड़ है। केंद्र इससे पहले ही कश्मीर के लिए 62599 करोड़ रुपए जारी कर चुका है जो पीएमडीपी परियोजना के कुल लागत का 78 फीसदी है।
पी.एम.डी.पी. परियोजना के अंतर्गत बाढ़ में पूर्ण रुप से और आंशिक रुप से बर्बाद हो चुके आवासों के राहत का काम देखा जाएगा। यह परियोजना 1200 करोड़ की है जो अब पूरी हो चुकी है। पीएमडीपी के अंतर्गत जम्मू के प्रवासियों का राहत पैकेज भी शामिल हैं।

सीएम और गवर्नर से भी मिले
गृहमंत्री ने इस दौरान मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती और राज्यपाल एन.एन. वोहरा से भी मुलाकात की। यही नहीं, विभिन्न केंद्रीय अद्र्धसैनिक बल के जवानों के साथ-साथ विशेष रूप से जम्मू.कश्मीर पुलिस के जवानों के साथ भी मुलाकात करेंगे। पिछले एक साल के दौरान आतंकवाद के खिलाफ  लड़ाई में राज्य पुलिस के जवानों की केंद्रीय भूमिका रही है। सुरक्षा तैयारियों व विकास योजनाओं की समीक्षा के अलावा राजनाथ सिंह की कोशिश नई परिस्थितियों में राज्य के आम आदमी की भावनाओं को समझने की होगी। इसके लिए वे 50 से अधिक प्रतिनिधिमंडलों के साथ मुलाकात करेंगे। गृहमंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि राजनाथ सिंह से मुलाकात के लिए विभिन्न क्षेत्रोंए वर्गो व समूहों के प्रतिनिधिमंडल का बड़ी संख्या में अनुरोध मिला है।

छात्रों से करेंगे मुलाकात
राज्य के युवाओं के साथ सीधा संवाद कायम करने के लिए वे श्रीनगर में छात्रों से भी मुलाकात करेंगे। हिजबुल मुजाहिदीन आतंकी बुरहान वानी की मौत के बाद भडक़ी हिंसा के दौरान पिछले साल सितंबर में राजनाथ सिंह ने कश्मीर का दौरा किया था। उस समय लगभग 30 प्रतिनिधिमंडलों ने उनसे मुलाकात की थी। प्रतिनिधिमंडलों की लगभग दोगुनी संख्या घाटी में बदले हालात का संकेत है।
यात्रा के पहले ही राजनाथ सिंह ने साफ  कर दिया है कि वे किसी तरह का पूर्वाग्रह लेकर कश्मीर नहीं जा रहे हैं। बल्कि खुले मन से जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि जो भी उनसे मिलना चाहेगाए वे मिलने के लिए तैयार है। लेकिन आतंकी फंडिंग की जांच में बुरी तरह फंस रहे हुर्रियत नेता इस बार भी बातचीत के लिए आगे आने को तैयार नहीं है। इसके बजाय वे राजनाथ सिंह के दौरे के विरोध में घाटी में बंद का ऐलान करने की तैयारी में हैं।

 

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