रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव की अधिकारियों को दो टूक, भ्रष्टाचार से समझौता नहीं, भेज देंगे जेल
Saturday, Aug 14, 2021 - 09:20 PM (IST)
नेशनल डेस्कः रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने शनिवार को अधिकारियों को दो टूक कहा कि भ्रष्टाचार, विभागवाद और सुरक्षा के साथ समझौता के प्रति उनकी कतई सहन नहीं करने की नीति है। सूत्रों ने बताया कि रेलवे के क्षेत्रीय कार्यालयों के शीर्ष अधिकारियों के साथ अपनी पहली बैठक में मंत्री ने कहा कि वह उनके नवाचारों का समर्थन करेंगे, लेकिन भ्रष्ट लोगों को जेल भेज देंगे।
वैष्णव ने कहा कि भ्रष्टाचार, विभागवाद और सुरक्षा के साथ समझौता करने के प्रति उनकी कतई सहन नहीं करने की नीति है। सूत्रों ने कहा कि केंद्रीय मंत्री ने भारतीय रेल के लिए सुरक्षा, विश्व स्तरीय ट्रेनों, स्टेशन पुनर्विकास और बुलेट ट्रेनों को सर्वोच्च प्राथमिकता के रूप में पहचाना। उन्होंने इन चार क्षेत्रों में व्यक्तिगत लक्ष्य भी निर्धारित किए हैं और वह व्यक्तिगत रूप से दैनिक आधार पर प्रगति की समीक्षा कर रहे हैं।
सुरक्षा में सुधार के लिए, रेलवे न केवल घरेलू उपयोग के लिए बल्कि निर्यात के लिए भी स्वदेशी ट्रेन टकराव बचाव प्रणाली (टीसीएएस), जिसे ‘कवच’ कहा जाता है, को अपग्रेड करने की योजना है। नई पीढ़ी के लिए विश्व स्तरीय ट्रेनों को शुरू करने के लिए विस्टाडोम, तेजस और वंदे भारत ट्रेनों सहित कोचों के नए संस्करणों के निर्माण पर भी काम शुरू हो गया है।
सूत्रों ने कहा कि इसका उद्देश्य अगले तीन वर्षों में 150 स्टेशनों का पुनर्विकास करना और अगले कुछ वर्षों में कम से कम 150-200 शहरों में अत्याधुनिक रेलगाड़ियों को शुरू करना है। वैष्णव ने वित्तीय और पेशेवर ईमानदारी पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा कि वह हर समय अपने अधिकारियों के साथ खड़े होने के लिए तैयार हैं लेकिन व्यक्तिगत मौद्रिक लाभ के लिए उनके द्वारा लिए गए किसी भी निर्णय को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
बैठक के दौरान उन्होंने वरिष्ठ अधिकारियों से कहा कि उनमें से जो भ्रष्ट तरीके अपनाते हैं, उन्हें पैसा कमाने के लिए दूसरे रास्ते तलाशने चाहिए। मंत्री ने कहा, ‘‘अगर यहां कोई भ्रष्ट आदमी है, तो उसके लिए अगले तीन साल काफी सूखे होंगे।’’
सूत्रों के अनुसार वैष्णव ने कर्मचारियों से यह भी कहा कि वह किसी भी ‘‘चलता है रवैये’’ का साथ नहीं देंगे। उन्होंने कहा, ‘‘हमारे सर्वोत्तम प्रयासों के बावजूद दुर्घटनाएं हो सकती हैं, लेकिन अगर कुछ हमारे संज्ञान में लाया जाता है और हम इसे नजरअंदाज कर देते हैं जो दुर्घटना का कारण बनता है, तो फिर कोई बहाना नहीं चलेगा।’’