सबरीमाला हिंसा से प्रधानमंत्री के केरल दोरे में बदलाव, पार्टी ने जारी की नई तारीख

punjabkesari.in Saturday, Jan 05, 2019 - 06:47 PM (IST)

नेशनल डेस्कः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का प्रस्तावित केरल दौरा स्थगित कर दिया गया है। अब पीएम केरल में दो रैलियां करेंगे। केरल बीजेपी की ओर से बताया गया कि पीएम मोदी 15 जनवरी को कोल्लम में और 24 जनवरी को त्रिशूर में होगी। इसके अलावा पार्टी सबरीमाला में मंदिर में महिलाओं के प्रवेश के विरोध में 15 जनवरी को सचिवालय तक मार्च करेगी।

सबरीमाला मंदिर पर मचा बवाल
प्रधानमंत्री के दौरे में यह परिवर्तन ऐसे समय में हुआ है, जब राज्य में सबरीमाला के मुद्दे पर संग्राम छिड़ा हुआ है। दो जनवरी को सबरीमाला मंदिर में दो महिलाओं के प्रवेश के बाद हिंसा की शुरुआत हुई थी। बताया जा रहा है कि 1369 लोगों को हिंसा फैलाने के आरोप में पुलिस ने हिरासत में लिया है।

मंदिर में प्रवेश करने वाली महिला भक्त नहीं माओवादी थीं
हिंसा की शुरुआत भाजपा और कम्युनिस्ट पार्टी के कार्यकर्ताओं की झड़प से हुई। भाजपा के मुताबिक, मंदिर में प्रवेश करने वाली महिला भक्त नहीं बल्कि माओवादी थी। प्रवेश करने वाली दोनों मिहलाओं के नाम बिंदु और कनकदुर्गा है। इसके अलावा भगवान अयप्पा के मंदिर में 46 वर्षीय श्रीलंकाई तमिल महिला के प्रवेश को लेकर असमंजस की स्थिति है।

पहले भी प्रवेश पर लगाई रोक
बिंदू कॉलेज में लेक्चरर और भाकपा (माले) कार्यकर्ता हैं। वह कोझिकोड जिले के कोयिलैंडी की रहने वाली हैं। कनकदुर्गा मलप्पुरम के अंगदीपुरम में एक नागरिक आपूर्ति कर्मी हैं। वे दोनों 24 दिसंबर को सबरीमाला आई थीं। इससे पहले चेन्नई के एक संगठन ने 11 महिलाओं को मंदिर में प्रवेश करने से रोक दिया था और अयप्पा मंत्रोच्चारण कर रहे श्रद्धालुओं ने उन्हें वहां से लौटा दिया था।

सीपीआई कार्यकर्ताओं को किया गया गिरफ्तार
हिंसा में मंदिर में महिलाओं के प्रवेश का विरोध करने वाले संगठन सबरीमाला कर्मा समिति के कार्यकर्ता चंद्रन उन्नीथन की पंडलम में मौत हो गई। पुलिस ने इस मामले में दो सीपीआई कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया है। हालांकि मुख्यमंत्री विजयन के मुताबिक चंद्रन की मौत हार्ट अटैक से हुई है। न कि घायल होने से। केरल पुलिस के मुताबिक, यह हमला सुनियोजित था।

बताया जा रहा है कि मंदिर में महिलाओं के प्रवेश के बाद मंदिर का शुद्धिकरण किया गया था। विभिन्न संगठनों के बुलाए हड़ताल के दौरान फैली हिंसा के मामले में पुलिस ने 800 से ज्यादा केस दर्ज किए है। बता दें कि पिछले साल सितंबर में सुप्रीम कोर्ट ने 10 से 50 वर्ष की आयु की महिलाओं को भगवान अयप्पा स्वामी के मंदिर में प्रवेश की पाबंदी हटा दी थी। हालांकि अयप्पा के भक्तों के विरोध के कारण अब तक एक भी महिला मंदिर में प्रवेश नहीं कर सकी थी। 
 


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Yaspal

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