महबूबा बोली मेरे विधायकों को एनआईए का डर दिखाया जा रहा है

Saturday, Jul 21, 2018 - 03:57 PM (IST)

श्रीनगर : पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कहा है कि पीडीपी के विधायकों को राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एन.आई.ए.) की छापेमारी के जरिए डराया जा रहा है। मुफ्ती ने आरोप लगाया है पार्टी विधायकों को धमकी दी जा रही है। भाजपा की ओर से समर्थन वापस लेने के बाद पहली बार पीडीपी अध्यक्ष ने अपनी पार्टी के भीतर संकट पर बात की है। महबूबा मुफ्ती ने बिना नाम लिए भाजपा पर हॉर्स ट्रेडिंग का आरोप लगाते हुए कहा कि पार्टी के कुछ विधायकों ने पार्टी छोडऩे का जबरदस्त दबाव बनाया जा रहा है। मुफ्ती ने कहा कि मैं यह नहीं कह रही कि ऐसा नई दिल्ली कर रही है, लेकिन दिल्ली में मौजूद कुछ लोगों से मैंने बात की और उन्हें बताया कि कुछ मीडिया रिपोट्र्स के जरिये ऐसा माहौल बनाया जा रहा है कि वह महत्वपूर्ण मंत्री पद या पैसे लेकर पीडीपी छोडऩे के लिए प्रेरित हों और अगर वह इसे रिजेक्ट कर रहे हैं तो उन्हें एन.आई.ए. के छापे की धमकी दी जा रही है।

 


महबूबा ने कहा कि कश्मीर ऐसी जगह है जहां अलगाववाद, मुख्यधारा की राजनीति और आतंक है, लेकिन एन.आई.ए. की ओर से दी जा रही धमकी घाटी में नए खतरे की ओर इशारा कर रही है। पीडीपी तोडऩे के परिणामस्वरूप सलाहुद्दीन जैसे और भी आतंकी पैदा होने की टिप्पणी पर महबूबा ने कहा कि अगर आप पीडीपी को तोड़ेंगे तो आप उन लोगों का सामना कैसे कर पाएंगे, जिन्होंने पीडीपी या कांग्रेस या नेशनल कांफ्रेंस को वोट देने के लिए गोलियां झेली हैं। आप लोकतंत्र मे उनका विश्वास तोड़ देंगे। उन्होंने कहा कि ऐसी कोशिश फिर से साल 1984 की स्थिति पैदा कर देगी।


पहले भी अटकलें लगाई जा रही थी कि अमरनाथ यात्रा के बाद सरकार बनाने के लिए पीडीपी में संभावित टूट हो सकती है और बागी लोग भाजपा में शामिल हो सकते हैं। जम्मू-कश्मीर विधानसभा में 87 सदस्य हैं, जिसका अर्थ है सरकार बनाने के लिए 44 विधायकों चाहिए। पीडीपी 28 विधायकों के साथ सबसे बड़ी पार्टी है, इसके बाद 25 विधायकों के साथ भाजपा, नेशनल कांफ्रेंस के 15 और कांग्रेस के 12 विधायक हैं, दो विधायक सजाद लोन के नेतृत्व वाले पीपुल्स कॉन्फ्रेंस से संबंधित हैं, एक सीपीआई (एम) एक पीपुल्स डेमोक्रेटिक फ्रंट के  और शेष तीन निर्दलीय हैं।

Monika Jamwal

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