शिवराज सरकार ने पेश किया लोकलुभावन बजट, किसानों को मिली सौगात

Wednesday, Feb 28, 2018 - 06:17 PM (IST)

नेशनल डेस्क: मध्यप्रदेश के बजट सत्र के पहले 2 दिन चले हंगामे के ​बीच बुधवार को राज्य का बजट पेश किया गया। राज्य के वित्तमंत्री जयंत मलैया ने वर्ष 2018-19 का लोकलुभावन बजट पेश किया जिसमें किसनों को कई सौगातें दी गई है। माना जा रहा हे कि साल के अंत में होने वाले विधानसभा चुनाव को देखते हुए शिवराज सरकार प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्र में बढ़ रही नाराजगी को दूर करना चाहती है। 

कृषि व स्वास्थ्य पर जोर
अपनी उपज के वाजिब दाम दिलाने एवं रिण माफी सहित विभिन्न मांगों को लेकर पिछले साल प्रदेश में हुए किसान आंदोलन के दौरान छह जून को आंदोलन के मुख्य केन्द्र मंदसौर में पुलिस गोलीबारी में पांच किसानों की मौत हो गई थी। इसके अलावा, भाजपा के बागी नेता एवं पूर्व केन्द्रीय वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा ने मध्यप्रदेश के नरसिंहपुर जिले में हाल ही में दो बार किसानों के समर्थन में आंदोलन किया। इसी को ध्यान में रखकर प्रदेश सरकार ने कृषि बजट में वर्ष 2018-19 के लिए 37,498 करोड़ रूपये का प्रावधान किया है, जो वर्ष 2017-18 के पुनरीक्षित अनुमान से 17 प्रतिशत अधिक है। 

शिक्षा के क्षेत्र में होगा बदलाव
सदन में बजट पेश करते हुए राज्य के वित्त मंत्री जयंत मलैया ने कहा कि गेहूं तथा धान उत्पादक किसानों को प्रोत्सहित करने के उद्देश्य से ‘कृषक समृद्धि योजना’ प्रारंभ की जा रही है। इस योजना के अंतर्गत लगभग 9 लाख किसानों को प्रति किंव्टल 200 रूपये के मान से प्रोत्साहन राशि प्रदान की जाएगी। मलैया ने कहा कि शिक्षा क्षेत्र की योजनाओं के लिए समग्र रूप से 32,948 करोड़ रूपये तथा स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए समेकित रूप से 15,438 करोड़ रूपये का प्रावधान बजट में किया गया है। भोपाल एवं इन्दौर में मेट्रो रेल परियोजना के प्रथम चरण का निर्माण वर्ष 2018-19 में प्रारंभ करने का लक्ष्य है।

बजट में स्मार्ट सिटी पर जोर
वित्तमंत्री ने कहा कि समार्ट सिटी योजना के अंतर्गत चयनित छह शहरों भोपाल, इन्दौर, जबलपुर, ग्वालियर, सागर तथा सतना में नागरिकों को बुनियादी सुविधाएं, स्वच्छ और टिकाऊ पर्यावरण, जीने के लिए उच्च स्तरीय गुणवत्ता तथा स्मार्ट समाधान प्राप्त होगा। उन्होंने कहा कि स्मार्ट सिटी योजना हेतु वर्ष 2018-19 के लिए 700 करोड़ रूपये का प्रावधान है। मलैया ने बताया कि वर्ष 2018-19 की कुल प्राप्तियों 1,86,698 करोड़ रूपये तथा कुल व्यय 1,86,685 करोड़ रूपये अनुमानित होने से वर्ष का शुद्ध लेन-देन 13 करोड़ का अनुमान है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2018-19 में राजस्व आधिक्य अनुमानित है। वर्ष 2018-19 के लिए राजकोषीय घाटे का अनुमान 26,780 करोड़ रूपये हैं यह राज्य के सकल घरेलू उत्पाद का 3.24 प्रतिशत अनुमानित है। 

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