ऑफ द रिकार्ड: मोदी किसे बनाएंगे 17वीं लोकसभा का डिप्टी स्पीकर
Saturday, Feb 29, 2020 - 09:16 AM (IST)
नई दिल्ली: लोककसभा का डिप्टी स्पीकर चुनने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्तर पर गहन विचार-मंथन चल रहा है। लगभग 10 महीने का समय हो गया है जब 17वीं लोकसभा अस्तित्व में आई थी लेकिन तब से सदन बिना डिप्टी स्पीकर के चल रहा है। प्रधानमंत्री मोदी ने इस संदर्भ में कुछेक राजनीतिक दलों से औपचारिक बात भी की है, उनमें वाई.एस.आर. कांग्रेस प्रमुख एवं आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रैड्डी व टी.आर.एस. प्रमुख चंद्रशेखर राव शामिल हैं। हालांकि कोई ठोस आश्वासन तो नहीं मिला लेकिन लोकसभा चुनाव से पहले चंद्रबाबू नायडू के भाजपा से संबंध टूटने से दोनों दल केंद्र के करीब होने की कोशिश कर रहे हैं। वाई.एस.आर. कांग्रेस तो केंद्र और मोदी के साथ काम करने के लिए अपने इरादे छिपा भी नहीं रही है।
लोकसभा में उसके 22 सांसद हैं जबकि तेलंगाना राष्ट्रीय समिति, जो तेलंगाना में सत्ता में है, के 9 सांसद हैं। 16वीं लोकसभा में प्रधानमंत्री मोदी ने ए.आई.ए.डी.एम. के. के थम्बीदुरई को डिप्टी स्पीकर बनवाया था। तब ए.आई.ए.डी. एम.के. भाजपा की सहयोगी नहीं थी लेकिन वह कांग्रेस-नीत यू.पी.ए. गठबंधन का भी हिस्सा नहीं थी। लोकसभा चुनाव में ए.आई.ए.डी.एम.के. बुरी तरह पराजित हुई और इस समय वह दौड़ में भी नहीं है। मोदी यह पद बीजू जनता दल (बी.जे.डी.), जो न तो एन.डी.ए. का साथी है और न ही यू.पी.ए. का हिस्सा, को देने की कोशिश कर चुके हैं।
लोकसभा चुनाव में मोदी के जबरदस्त बहुमत से वापस सत्ता में आने के बाद से बी.जे.डी. नेता एवं ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक उनके प्रति झुकाव दिखा चुके हैं। लोकसभा के 6 बार सदस्य रहे बी.जे.डी. के भर्तृहरि महताब का नाम भी डिप्टी स्पीकर पद के लिए चर्चा में चला लेकिन नवीन पटनायक ने चुग्गा नहीं उठाया और यह ऑफर स्वीकार नहीं किया। वैसे बी.जे.डी. ने सरकार को स्पष्ट कर दिया है कि वह सरकार के महत्वपूर्ण विधेयकों को अपना समर्थन जारी रखेगी। दक्षिण भारत में भाजपा का आधार बढ़ाने के उद्देश्य से मोदी वहां के नए राजनीतिक दलों को भी टटोल रहे हैं।