जानिए कौन है जय अमित शाह और क्यों बने अखबारों की हेडलाइंस

Monday, Oct 09, 2017 - 03:50 PM (IST)

नेशनल डैस्कः जय अमित शाह भाजपा अध्यक्ष अमित शाह के इकलौते बेटे हैं और ज्यादातर लाइम लाइट से दूर ही रहते हैं। उनको लेकर कभी कोई विवादित चर्चा नहीं हुई लेकिन इन दिनों वे अखबारों की सुर्खियों में हैं। हालांकि उनके पिता अमित शाह को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बाद सबसे ताकतवर नेता माना जाता है क्योंकि उन्होंने पार्टी में कई ऐसे नामुमकिन काम कर दिखाए हैं। लेकिन 27 वर्षीय औसत कद काठी वाले जय अमित शाह इन दिनों किसी दूसरी वजह से चर्चा में हैं। जय राजनीति से दूर अपनी कंपनी टेंपल इंटरप्राइज चलाते हैं।

इसलिए अखबारों की हेडलाइन बने जय
वेबसाइट द वायर की ने एक स्टोरी पब्लिश की है जिसमें उसने लिखा कि नरेंद्र मोदी के प्रधानमंत्री बनने के बाद अमित शाह के बेटे का कारोबार कई गुना बढ़ गया है। पिता की राजनीतिक हैसियत के चलते उनको काफी मुनाफा हुआ है। खबर में रजिस्ट्रार ऑफ कंपनीज (आरओसी) के आंकड़े को उद्धृत करते हुए कहा गया है कि जय अमित शाह के मालिकाना हक वाले टेंपल इंटरप्राइज की संपत्ति में वर्ष 2015-16 के दौरान 16,000 गुना का इजाफा हुआ। रिपोर्ट के मुताबिक 2014-15 में कंपनी का टर्नओवर 15000 रुपए था जो 2015-16 में बढ़कर 80.5 करोड़ हो गया।

जय ने दी ये सफाई
जय शाह ने बयान जारी कर किसी भी प्रकार की अनियमितिता के आरोप का खंडन किया है। जय ने अपने में बयान में वेबसाइट के लेख को झूठा, अपमानजनक और उनकी बदनामी की कोशिश करने वाला बताया है। जय ने कहा कि यह लेख लोगों के मन में यह धारणा बनाना चाहता है कि मेरे पिता अमितभाई शाह की राजनीतिक हैसियत की वजह से मेरी कंपनी को सफलता मिली है। जय ने कहा कि उनका व्यवसाय पूरी तरह से वैध है और इसे वैध तरीके से ही चलाया जाता है। उन्होंने कहा कि इसे मेरे टैक्स रिकॉर्ड्स और बैंकिंग के लेन-देने के जरिए समझा जा सकता है।

राज्यसभा सांसद भी चर्चा में
रिपोर्ट के मुताबिक जय की कंपनी ने राज्यसभा सांसद परिमल नाथवाणी के रिश्तेदार राजेश खंडवाल से 15.78 करोड़ का लोन भी हासिल किया। परिमल नाथवाणी रिलायंस इंडस्ट्रीज में सीनियर एग्जिक्युटिव भी हैं। खंडवाला की बेटी, परिमल नाथवानी के बेटे के संग ब्याही गई है। वे अपना एक पैर राजनीति में तो दूसरा पैर व्यापार में रखकर काम करते रहे हैं। वे राज्यसभा के एक निर्दलीय सांसद हैं। 2014 में भाजपा के झारखंड के विधायकों के समर्थन से वे राज्यसभा में फिर से चुनकर पहुंचे थे। हालांकि राजेश ने इस पूरे मामले में अभी तक कुछ नहीं कहा है।

टेंपल इंटरप्राइज की संपत्ति में उतार-चढ़ाव
टेंपल इंटरप्राइज, 2004 में निगमीकृत हुआ और जय शाह और जितेंद्र शाह का नाम इसके निदेशकों के तौर पर दर्ज किया गया। भाजपा अध्यक्ष अमित शाह की पत्नी सोनल शाह की भी इस कंपनी में हिस्सेदारी थी। 2014-15 में टेंपल इंटरप्राइज के पास कोई अचल संपत्ति नहीं थी, न ही इसके पास कोई इनवेंट्री या स्टॉक था। इसे 5,796 रुपए का इनकम टैक्स रिफंड भी मिला। 2014-15 में इसने 50,000 रुपए के राजस्व की कमाई की लेकिन 2015-16 में कंपनी का राजस्व आश्चर्यजनक ढंग से बढ़कर 80.5 करोड़ रुपए हो गया। यह 16 लाख प्रतिशत की वृद्धि थी।

बचाव में उतरी भाजपा
इस पूरे मामले में भाजपा जय के बचाव में उतरी और वेबसाइट पर 100 करोड़ की मानहानि का केस करने का फैसला लिया है। पीयूष गोयल ने कहा कि खंडवाल करीब दशक भर से शाह के स्टॉक ब्रोकर रहे हैं। उन्होंने कहा कि लोन बिल्कुल सही तरीके से एक फाइनैंस कंपनी से लिया गया था और इसकी जानकारी सबको थी। गोयल ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि लेख में बिल्कुल भी कोई तथ्य नहीं हैं, हम जय शाह के खिलाफ सभी आरोपों को खारिज करते हैं। इससे पहले कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल ने कहा था कि ऐसा लगता है कि सत्ता बदलने के बाद कुछ लोगों का भाग्य भी बदल गया है।

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