कर्नाटकः पिछले 15 महीनों में 1100 से अधिक किसानों ने की आत्महत्या, रिपोर्ट में हुए चौंकाने वाले खुलासे

punjabkesari.in Monday, Jul 08, 2024 - 06:38 PM (IST)

नेशनल डेस्कः कर्नाटक में एक चौंकाने वाली रिपोर्ट सामने आ रही है। राजस्व विभाग की रिपोर्ट के मुताबिक, कर्नाटक में पिछले 15 महीनों में 1182 किसानों ने आत्महत्या की है। राजस्व विभाग ने इन आत्महत्याओं के लिए गंभीर सूखा, फसल का नुकसान और भारी कर्ज को मुख्य कारण बताया है। कर्नाटक में किसानों की आत्महत्या के सबसे ज़्यादा मामले बेलगावी, हावेरी और धारवाड़ के तीन जिलों में सामने आए, जहां क्रमशः 122, 120 और 101 ऐसे मामले सामने आए।

कर्नाटक के 27 जिलों में से किसानों ने विभिन्न कारणों से यह कदम उठाया, केवल छह जिलों में ही एकल अंकों में किसान आत्महत्या के मामले दर्ज किए गए। शेष 21 जिलों में 30 या उससे अधिक किसान आत्महत्या के मामले देखे गए। चिक्काबल्लापुर और चामराजनगर में दो-दो किसान आत्महत्या के मामले दर्ज किए गए।

पिछले साल सितंबर में कर्नाटक के गन्ना विकास और कृषि उपज विपणन समितियों (एपीएमसी) के मंत्री शिवानंद पाटिल ने यह कहकर विवाद खड़ा कर दिया था कि सरकार द्वारा मृतक के परिवारों को दिए जाने वाले मुआवजे को बढ़ाकर 5 लाख रुपये करने के बाद राज्य में किसान आत्महत्याओं की संख्या में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। पाटिल ने अपने बयान का समर्थन करते हुए बताया कि यह मुआवजा उन किसानों के परिवारों द्वारा लिया गया था। जिन्होंने फसल के नुकसान और ऋण चुकाने में असमर्थता के कारण वित्तीय संकट के कारण आत्महत्या कर ली थी।

इस बीच पाटिल की टिप्पणियों पर प्रतिक्रिया देते हुए उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार ने कहा कि ऐसे लोग जो 'अपने स्वयं के कारणों से' आत्महत्या करते हैं। उन्हें किसान नहीं कहा जा सकता। उन्होंने कहा, "आत्महत्याएं कहां हैं? मुझे बताइए। जो लोग अपने कारणों से आत्महत्या करते हैं, क्या हम उन्हें किसान कह सकते हैं? यह सब झूठ है।"


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Writer

Yaspal

Related News