‘तकलीफ बताओ, डायरेक्ट बात करेंगे’, मंत्री के बेटे ने अस्पताल का किया दौरा, सोशल मीडिया पर VIDEO वायरल
punjabkesari.in Monday, Jul 21, 2025 - 01:55 PM (IST)

नेशनल डेस्क: झारखंड के स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी के बेटे कृष अंसारी का एक वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। इस वीडियो में कृष अपने दोस्तों के साथ अस्पतालों में अचानक निरीक्षण करते दिख रहे हैं। वीडियो में वह मरीजों से सीधे सवाल पूछते हैं कि “कोई तकलीफ है क्या?” और लोगों से अस्पताल की समस्याएं डायरेक्ट बताने को कहते हैं। इस वीडियो के वायरल होते ही राजनीतिक दलों और जनता के बीच विवाद खड़ा हो गया है।
वीडियो में क्या था खास?
इस वीडियो में कृष अंसारी और उनके आठ-दस दोस्त रिम्स अस्पताल के वार्ड के अंदर जाते हैं। कृष कहता है, "तकलीफ बताओ, डायरेक्ट बात करेंगे," जिससे मरीज और उनके परिजन थोड़े हैरान हो जाते हैं। फिर वह कहता है कि किसी भी दिक्कत की डिटेल उनके ‘सर’ को दे दी जाए। वीडियो में एक निजी अस्पताल में मरीज के बिल को देखकर कृष कहते हैं कि ये चार्जेज गलत हैं।
He is Dr Krish Ansari, MBBS. MBBS in his case stands for Mantriji ke Bade Bete Sahib.
— THE SKIN DOCTOR (@theskindoctor13) July 19, 2025
He is the son of Jharkhand Health Minister Irfan Ansari, and has been visiting various hospitals with his friends, meeting patients, checking medical records, and making reels. pic.twitter.com/ZxPSMVx9g6
विपक्ष की कड़ी आलोचना
इस घटना पर विपक्ष ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। भाजपा के प्रवक्ता अजय साह ने सवाल उठाया कि अस्पतालों का निरीक्षण करने का अधिकार मंत्री के बेटे को किसने दिया। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य व्यवस्था पर ध्यान देने के बजाय मंत्री के बेटे की दिलचस्पी रील शूटिंग में ज्यादा है। उन्होंने तंज कसा कि क्या अब मंत्री के बच्चे ही सरकारी कामकाज संभालेंगे? अजय साह ने कहा कि मंत्री इरफान अंसारी अपने बेटे को डांटने की बजाय उसे बचा रहे हैं। उन्होंने कांग्रेस पर भी निशाना साधते हुए कहा कि मंत्री राहुल गांधी के नक्शेकदम पर चलकर अपने परिवार को राजनीति में स्थापित करना चाहते हैं।
मंत्री का बेटा इंसानियत के लिए गया था अस्पताल?
स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी ने बेटे के बचाव में बयान जारी किया। उन्होंने कहा कि कृष अस्पताल निरीक्षण के लिए नहीं गया था, बल्कि वह अपने शिक्षक आदित्य कुमार झा के बीमार पिता से मिलने रिम्स गया था। उस समय कुछ आदिवासी परिवार अस्पताल में इलाज से परेशान होकर उनसे मिले। इसलिए कृष उनके साथ गया और उनकी मदद की। मंत्री ने बताया कि कृष ने अस्पताल में एक वरिष्ठ पत्रकार के रिश्तेदार की भी मदद की। उन्होंने कहा कि यह पूरी घटना मानवीय आधार पर हुई, लेकिन इसे राजनीतिक रंग देने की कोशिश की जा रही है।
विवाद के बीच राजनीति और सोशल मीडिया
कृष अंसारी का यह वीडियो सोशल मीडिया पर रील के रूप में काफी वायरल हुआ, जिससे सवाल उठे कि क्या ऐसा निरीक्षण करने का अधिकार उन्हें दिया गया है? वीडियो के बैकग्राउंड में म्यूजिक के साथ रील बनाना कुछ लोगों को रील शूटिंग पर ध्यान केंद्रित करने जैसा लगा, जिससे आलोचना हुई। राजनीतिक पार्टियों ने इसे राजनीति का मुद्दा बना दिया और सवाल किया कि क्या मंत्री के बच्चों को सरकारी कामकाज में यह अधिकार मिल गया है? इस मामले ने स्वास्थ्य व्यवस्था की स्थिति पर भी बहस छेड़ दी।