जय शाह मानहानि मामलाः सुप्रीम कोर्ट ने 8 अगस्त तक लगाई रोक

Monday, Jul 23, 2018 - 08:44 PM (IST)

नई दिल्लीः सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को कथित रूप से मानहानिपूर्ण लेख लिखने पर समाचार पोर्टल ‘द वायर’ और इसके पत्रकारों के खिलाफ भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह के बेटे जय शाह द्वारा दायर आपराधिक मानहानि शिकायत पर गुजरात की एक निचली अदालत की कार्यवाही पर रोक की अवधि 8 अगस्त तक बढ़ा दी।

मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली पीठ ने पोर्टल और खबर लिखने वाली रोहिणी सिंह सहित इसके पत्रकारों की अपील पर अंतिम सुनवाई के लिए 8 अगस्त की तारीख तय की। यह अपील मानहानि शिकायत को खारिज करने से इंकार के उच्च न्यायालय के आदेश के खिलाफ दायर हुई है। पीठ ने कहा, ‘‘(निचली अदालत की) कार्यवाही पर रोक आठ अगस्त तक जारी रहेगी।’’ इस पीठ में न्यायमूर्ति ए एम खानविलकर और न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ भी शामिल थे।



समाचार पोर्टल राजनीतिक विरोधियों की तरह कर रहा काम
सुनवाई की शुरुआत में, पोर्टल की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता राजू रामचंद्रन ने कहा कि शिकायत पीठ के सुझाव के अनुसार अदालत के बाहर आपसी बातचीत से निपटाई नहीं जा सकती और अब अपीलों पर सुनवाई की जरूरत है। जय शाह की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता एन के कौल ने आरोप लगाया कि समाचार पोर्टल अमित शाह के ‘‘राजनीतिक विरोधियों के मुखपत्र की तरह काम’’ कर रहा है और संसद के अंदर और बाहर ‘‘तथ्यात्मक रूप से गलत बयान’’ दिए जा रहे हैं।

कौल ने कहा कि अमित शाह के राजनीतिक विरोधियों द्वारा ‘मानहानि’ वाले लेख का दुरुपयोग किया जा रहा है और भाजपा अध्यक्ष तथा प्रधानमंत्री की तस्वीरों का भी गलत इस्तेमाल हो रहा है। इससे पहले अदालत ने जय शाह तथा ‘द वायर’ और उसके पत्रकारों से इस मामले को आपसी बातचीत से सुलझाने को कहा था। यह मामला उच्चतम न्यायलय तब पहुंचा जब स्थानीय अदालत और गुजरात उच्च न्यायालय ने मानहानि शिकायत को निरस्त करने से इंकार कर दिया था।



यह शिकायत खबर करने वाली पत्रकार रोहिणी सिंह, समाचार पेार्टल के संस्थापक संपादक सिद्धार्थ वद्र्धराज, सिद्धार्थ भाटिया और एम के वेणु,  प्रबंध संपादक मोनोबिना गुप्ता, लोक संपादक पामेला फिलीपोस और द वायर को प्रकाशित करने वाले ‘फाउंडेशन फार इंडिपेंडेंट जर्नलिज्म’ के खिलाफ दायर की गई है।

Yaspal

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