BUDGET से डाक्टरों की उम्मीदें ग्रामीण क्षेत्रों में स्वास्थ्य सुविधाएं बढ़ाए सरकार

punjabkesari.in Monday, Feb 29, 2016 - 09:10 AM (IST)

जालंधर: पंजाब केसरी की बजट से उम्मीदें श्रृंखला में आज हम आपको हैल्थ सैक्टर की बजट से उम्मीदों के प्रति अवगत करवाएंगे। जालंधर को स्पोर्ट्स के अलावा अस्पतालों के शहर के नाम से भी जाना जाता है। हमने जालंधर में कुछ डाक्टरों से बात कर के यह जानने की कोशिश की कि आखिर डाक्टर बजट से क्या चाहते हैं।

अस्पताल निर्माण सामग्री पर उत्पाद शुल्क कम हो : डा. भारत भूषण

किसी भी डाक्टर का अस्पताल बनाने में बहुत खर्च आता है। अस्पताल के निर्माण में इस्तेमाल होने वाली सामग्री व मशीनों पर उत्पाद शुल्क कम करना चाहिए। इसके अलावा अस्पतालों के लिए बहुत सारी मशीनें विदेश से आयात होती हैं।

इन मशीनों पर आयात शुल्क बहुत ज्यादा है। बजट में हैल्थ सैक्टर में इस्तेमाल के लिए आयात होने वाली मशीनों पर भी आयात शुल्क कम होना चाहिए।

स्वास्थ्य बजट में वृद्धि की जाए : डा. रमन गुप्ता

गत वर्ष देश का हैल्थ बजट जी.डी.पी. का महज 1.4 प्रतिशत था जबकि चीन का हैल्थ बजट 3 और अमरीका का 8 प्रतिशत से ज्यादा है। वित्त मंत्री को बजट के दौरान हैल्थ बजट को जी.डी.पी. का कम से कम 3 प्रतिशत करना चाहिए।

इस से हैल्थ सैक्टर पर खर्च बढ़ेगा और लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं मिलेंगी और देश में नवजात बच्चों की होने वाली मृत्यु दर कम होगी। भारत में करीब 1700 लोगों के पीछे 1 ही डाक्टर है और प्रति 100 व्यक्ति 1 बैड भी उपलब्ध नहीं है। इसमें सुधार के लिए बजट बढ़ाया जाना जरूरी है।

ग्रामीण क्षेत्रों में अस्पतालों के निर्माण को प्रोत्साहन मिले : डा. एस.एस. ढींगरा

बजट में सरकार को गांवों में स्वास्थ्य सेवाओं के विस्तार की तरफ ध्यान देना चाहिए। सरकार को ऐसे क्षेत्रों में अस्पतालों के निर्माण को प्रोत्साहित करने के लिए ग्रामीण क्षेत्रों में डाक्टरों को सस्ती दर पर जमीन मुहैया करवानी चाहिए और इन क्षेत्रों में बनाए जाने वाले अस्पतालों को कर छूट के अलावा अन्य इन्सैटिव की घोषणा करनी चाहिए ताकि ग्रामीण क्षेत्रों में स्वास्थ्य सुविधाएं बढ़ सकें।

देश में शिशु के जन्म के दौरान ज्यादा औरतों की मौत होती है और यह दर ग्रामीण क्षेत्रों में ज्यादा है। स्वास्थ्य सुविधाएं ग्रामीण क्षेत्रों में पहुंचने से ऐसे मामले काम हो सकेंगे।

स्वास्थ्य बीमा जरूरी किया जाए : डा. आशुतोष गुप्ता

सरकार को सबसे पहले देश में स्वास्थ्य बीमा जरूरी करना चाहिए और यह काम जन्म प्रमाण पत्र के साथ ही हो जाना चाहिए। सरकार को हर स्वास्थ्य बीमा को मॉनिटर करना चाहिए। यदि सरकार बीमा का पूरा खर्च वहन नहीं कर सकती तो इसमें आम लोगों की भागीदारी डालनी चाहिए।

यदि हर नागरिक का स्वास्थ्य बीमा होगा तो इस से आपात स्थिति में इलाज पर होने वाले खर्च का बोझ आम आदमी को ज्यादा नहीं लगेगा और लोगों को पारिवारिक सदस्यों के बीमार होने पर ज्यादा समस्या नहीं होगी। बजट में वित्त मंत्री को इस तरफ खास ध्यान देना चाहिए। इस से डाक्टर को भी इलाज करने में कोई परेशानी नहीं होगी।

 


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