राहुल गांधी मानहानि मामला: गुजरात कांग्रेस के नेताओं ने न्यायालय के फैसले को बताया सच की जीत
punjabkesari.in Friday, Aug 04, 2023 - 09:20 PM (IST)

नेशनल डेस्क: गुजरात में कांग्रेस के नेताओं ने 2019 के मानहानि मामले में राहुल गांधी की सजा पर रोक लगाने वाले उच्चतम न्यायालय के आदेश की शुक्रवार को सराहना करते हुए इसे सत्य और न्याय की जीत करार दिया। कांग्रेस के नेताओं और कार्यकर्ताओं ने यहां पालडी इलाके में स्थित पार्टी के प्रदेश मुख्यालय 'राजीव गांधी भवन' के बाहर एकत्र होकर पटाखे फोड़कर और नारे लगाकर इसका जश्न मनाया। वडोदरा, जामनगर और अन्य शहरों में भी कांग्रेस नेताओं ने जश्न मनाया।
अहमदाबाद में, कांग्रेस की गुजरात इकाई के नेता सिद्धार्थ पटेल और विधायक शैलेश परमार जैसे वरिष्ठ नेता राहुल गांधी के पोस्टर लेकर जश्न में शामिल हुए। सिद्धार्थ पटेल ने कहा, ‘‘ राहुल गांधी द्वारा कहे गए सिर्फ एक वाक्य को लेकर बिल्कुल अनावश्यक विवाद खड़ा किया गया था। उन्हें संसद में जनता की आवाज उठाने से रोकने का प्रयास किया गया। लेकिन अंततः सत्य की जीत हुई। उच्चतम न्यायालय का यह फैसला सत्य और न्याय की जीत है।''
परमार ने कहा कि उच्चतम न्यायालय 'सच्चाई' के पक्ष में है और अब राहुल गांधी संसद में वंचितों की आवाज उठा सकेंगे। कांग्रेस की गुजरात इकाई के अध्यक्ष एवं राज्यसभा सदस्य शक्तिसिंह गोहिल ने कहा कि सत्य को झुठलाया जा सकता है, पराजित नहीं किया जा सकता। शक्तिसिंह गोहिल ने ट्वीट किया, ‘‘ राहुल गांधी को उच्चतम न्यायालय से मिले न्याय से भारत खुश है। शाम पांच बजे लोकतंत्र में विश्वास रखने वाला हर गुजराती इस पल का जश्न मनाएगा।''
इस बीच, सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने कहा कि उसे विश्वास है कि सुनवाई शुरू होने पर शीर्ष अदालत राहुल गांधी की दोषसिद्धि के साथ-साथ सजा को भी बरकरार रखेगा। भाजपा की गुजरात इकाई के प्रवक्ता रुत्विज पटेल ने कहा, ‘‘ राहुल गांधी ने अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) समुदाय के 13 करोड़ लोगों का अपमान किया है। हमें विश्वास है कि जब भी मामला सुनवाई के लिए आएगा तो उच्चतम न्यायालय निचली अदालत के फैसले को बरकरार रखेगा। हमें न्यायपालिका पर तब भी भरोसा था और आज भी है।''
इससे पहले, उच्चतम न्यायालय ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी की लोकसभा सदस्यता बहाल करने का मार्ग प्रशस्त करते हुए मोदी उपनाम को लेकर की गई टिप्पणी के संबंध में 2019 में उनके खिलाफ दर्ज आपराधिक मानहानि मामले में शुक्रवार को उनकी दोषसिद्धि पर रोक लगा दी। लोकसभा अध्यक्ष अब उनकी सदस्यता बहाल कर सकते हैं या राहुल गांधी शीर्ष अदालत के आदेश के परिप्रेक्ष्य में एक सांसद के रूप में अपनी सदस्यता बहाल करने की अपील कर सकते हैं।पूर्णेश मोदी ने 13 अप्रैल 2019 को कर्नाटक के कोलार में एक चुनावी सभा में मोदी उपनाम के संबंध में की गई कथित विवादित टिप्पणी को लेकर राहुल के खिलाफ आपराधिक मानहानि का मुकदमा दर्ज कराया था। राहुल ने सभा में टिप्पणी की थी कि ‘‘सभी चोरों का एक ही उपनाम मोदी कैसे हो सकता है?''