''राज्यपाल और न्यायालय ने सत्य को खूंटी में टांग दिया'' शिंदे सरकार पर शिवसेना का वार

Friday, Jul 01, 2022 - 09:24 AM (IST)

नेशनल डेस्क: महाराष्ट्र में शिंदे सरकार बनते ही शिवसेना ने अपने मुखपत्र सामना के जरिए राज्यपाल और सुप्रीम कोर्ट पर जमकर निशाना साधा। शिवसेना की सामना में एकनाथ शिंदे को निशाने पर लेते हुए लिखा गया है कि ये कहने वालों की पोल खुल गई है कि सत्ता के लिए शिवसेना से दगाबाजी नहीं की।  
 
बता दें कि अपने ही MLA की बगावत के बाद शिवसेना चीफ उद्धव ठाकरे को सीएम पद से इस्तीफा देना पड़ा था, जिसके बाद एकनाथ शिंदे ने बीजेपी के साथ हाथ मिलकर महाराष्ट्र के नए सीएम बने।  अब शिवसेना ने अपने मुखपत्र 'सामना' के संपादकीय में पूरे घटनाक्रम का जिक्र करते हुए कुछ सवाल उठाए है। 

उद्धव ठाकरे ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद ही दे दिया इस्तीफा
शिवसेना ने सामना में लिखा है कि उद्धव ठाकरे ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद ही एक पल में मुख्यमंत्री के पद से इस्तीफा दे दिया, वे भी कुछ समय रुक कर लोकतंत्र की जीत के लिए आंकड़ों का खेल खेल सकते थे। विश्वासमत प्रस्ताव के समय भी हंगामा खड़ा करके कुछ विधायकों को निलंबित करवाकर वे सरकार बचा सकते थे, परंतु उन्होंने वह रास्ता नहीं चुना और अपने शालीन स्वभाव के अनुरूप भूमिका अपनाई,  जिन्होंने दगाबाजी की वे करीब 24 लोग कल तक उद्धव ठाकरे की ‘जय-जयकार’ किया करते थे, इसके आगे भी कुछ समय तक दूसरों के भजन में व्यस्त रहेंगे।

हिंदुस्थान जैसा महान देश अब नैतिकता के पतन से ग्रसित हो गया 
सामना में आगे लिखा कि हिंदुस्थान जैसा महान देश और इस महान देश का संविधान अब नैतिकता के पतन से ग्रसित हो गया है, ये परिस्थितियां निकट भविष्य में बदलेंगी, ऐसे संकेत भी नजर नहीं आ रहे हैं क्योंकि बाजार में सभी रक्षक बिकने के लिए उपलब्ध हैं।  

राज्यपाल और न्यायालय ने सत्य को खूंटी में टांग दिया 
सामना में आगे राज्यपाल और सुप्रीम कोर्ट को आड़े हाथों लेते हुए लिखा कि राज्यपाल और न्यायालय ने सत्य को खूंटी में टांग दिया और निर्णय सुनाया, इसलिए विधि मंडल की दीवारों पर सिर फोड़ने में कोई अर्थ नहीं था। 

देवेंद्र फडणवीस पर हैरानी
वहीं, सामना ने लिखा कि हमें तो देवेंद्र फडणवीस पर हैरानी होती है, उन्हें मुख्यमंत्री के रूप में वापस आना था, लेकिन वह बन गए उपमुख्यमंत्री। यही ढाई-ढाई वर्ष मुख्यमंत्री बांटने का फॉर्मूला चुनाव से पहले दोनों ने तय किया था, तो फिर उस समय मुख्यमंत्री पद को लेकर युति क्यों तोड़ी? 

महाराष्ट्र की इज्जत लूटने वालों पर सुदर्शन चलाएगी जनता
सामना ने दोबारा सरकार बनाने पर लिखा कि जिस तरह कौरवों ने द्रौपदी को भरी सभा में खड़ा कर उसका अपमान किया और धर्मराज सहित सभी निर्जीव बने ये तमाशा देखते रहे, ऐसा ही कुछ महाराष्ट्र में हुआ लेकिन आखिरकार भगवान श्रीकृष्ण अवतरित हुए और उन्होंने द्रौपदी की इज्जत और प्रतिष्ठा की रक्षा की। जनता जनार्दन भी श्रीकृष्ण की तरह अवतार लेगी और महाराष्ट्र की इज्जत लूटने वालों पर सुदर्शन चलाएगी। 

Anu Malhotra

Advertising