दिल्ली का अब कुछ नहीं बिगाड़ पाएगा PAK और चीन

Monday, Aug 21, 2017 - 01:16 PM (IST)

नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली को जल्द हवाई हमलों से बचने हेतु वाशिंगटन डी.सी. जैसा सुरक्षा कवच मिल सकेगा। साथ ही यह तकनीक और कोई नहीं, अमरीका उपलब्ध करवाने वाला है। सरकारी सूत्रों के अनुसार केंद्र सरकार जल्द नैशनल एडवांस सर्फेस टू एयर मिसाइल (एन.ए.एस.ए.एम.एस. या नास्मस) को दिल्ली की सुरक्षा के लिए इस्तेमाल करने पर विचार कर रही है। चीन और पाकिस्तान से बिगड़ते रिश्तों को देखते हुए राजधानी दिल्ली को एक बेहतर और मजबूत एयर डिफैंस की जरूरत है।


राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और दूसरे महत्वपूर्ण लोगों को क्रूज मिसाइल, ड्रोन और एयरक्राफ्ट हमलों से बचाने के लिए इस डिफैंस सिस्टम को खरीदने पर बातचीत चल रही है। हाल के दिनों में आतंकवादी संगठनों के पास भी हवाई हमले करने की ताकत बढ़ी है और ऐसे में दिल्ली को इन हमलों से सुरक्षित करने की जरूरत है।  यू.एस. की कंपनी ने एयरफोर्स और दूसरी सरकारी एजैंसियों को इस सिस्टम की प्रैजैंटेशन दिखाई है। सरकारी सूत्रों के अनुसार उनके इस प्रोपोजल पर विचार हो रहा है।

आतंकियों की खैर नहीं
सरकारी सूत्र ने बताया कि लश्कर-ए-ताइबा जैसे आतंकी संगठनों द्वारा मिसाइल, ड्रोन और एयरक्राफ्ट के बढ़ते इस्तेमाल से पैदा हुई संभावित खतरे के मद्देनजर इस कार्यक्रम को अपनाने पर विचार हो रहा है। अमेरिकी सुरक्षा अधिकारियों ने वायु सेना और बाकी दूसरी सुरक्षा एजेंसियों को इस कार्यक्रम का प्रस्तुतिकरण दिया और सरकार इस प्रस्ताव पर विचार कर रही है। बता दें कि अमेरिका द्वारा वॉशिंगटन डीसी में अपने राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र को सुरक्षित करने के लिए इसी सिस्टम का इस्तेमाल किया जाता है।

2005 से इसका इस्तेमाल कर रहा अमेरिका
अमेरिका साल 2005 से इस सिस्टम का इस्तेमाल कर रहा है। फिलहाल राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र, महत्वपूर्ण संपत्तियों और ठिकानों की सुरक्षा के लिए भारतीय नौ सेना रूस निर्मित सिस्टम का इस्तेमाल कर रही है। अमरीकियों द्वारा दावा किया जाता है कि एनएएसएएमएस एक ऐसा सिस्टम (प्रणाली) है, जो इसके इस्तेमाल करने वाले देश की खतरे को भांपने, दुश्मन के एयरक्राफ्ट, या मानवरहित हवाई विमान/वाहन को नष्ट करने, या क्रूज मिसाइल की धमकियों से निपटने की सर्वश्रेष्ठ क्षमता प्रदान करती है।

 

 

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