कर्नाटक चुनाव परिणाम के बाद बदले शिवसेना, NCP के सुर

Wednesday, May 16, 2018 - 07:33 PM (IST)

नेशनल डेस्कः कर्नाटक चुनाव के नतीजों का महाराष्ट्र पर सीधा असर हुआ है। कर्नाटक नतीजों के बाद यहां बीजेपी को संजीवनी मिल गई है। राज्य में बीजेपी की सहयोगी शिवसेना और विपक्षी पार्टी एनसीपी के सुर बदल गए हैं, जो शिवसेना कल तक बीजेपी को पानी पी-पीकर कोसा करती थी, उसके प्रमुख उद्धव ठाकरे ने बीजेपी को बधाई दी है बल्कि उन्होंने यह भी कहा कि बीजेपी सबसे बड़ी पार्टी है, उसे सरकार बनाने का मौका मिलना चाहिए।

उद्धव लगातार बीजेपी पर हमलावर रहे हैं और अगले लोकसभा चुनाव में अलग से चुनाव लड़ने का ऐलान कर चुके हैं, लेकिन लगता है कर्नाटक नतीजों के बाद उद्धव को अहसास हो चुका है कि मोदी देश में मोदी लहर उतनी कम नहीं हुई, जितना कि वो सोच रहे थे।

पालघर के लोकसभा उपचुनाव में शिवसेना ने भी प्रत्याशी उतारा है और पार्टी नेताओं को लग भी रहा है कि यहां से बीजेपी प्रत्याशी श्रीनिवास वनगा जीत जाएंगे। शिवसेना प्रमुख पार्टी के प्रत्याशी का प्रचार तो कर रहे हैं लेकिन बेहद संभलकर, वह इस प्रचार में सीधे मोदी का नाम नहीं ले रहे हैं बल्कि वह राज्य सरकार पर हमला कर रहे हैं।

एनसीपी ने दिया कमजोर प्रत्याशी को टिकट 
कर्नाटक में आए नतीजों का असर गोदिया भंडारा के उपचुनाव में भी पड़ेगा, यहां से इस्तीफा देने वाले बीजेपी सांसद नाना पटोले को लग रहै है कि उन्होंने गलती कर दी,  वहां एनसीपी ने कमजोर प्रत्याशी को टिकट दिया है। ऐसे में यहां से फिर बीजेपी जीत सकती है। वहीं कर्नाटक के नतीजे आने के बाद कांग्रेस ने तुरंत एनसीपी नेताओं के साथ बैठक की और यह भी कहा कि विधान परिषद समेत सारे चुनाव एनसीपी के साथ मिलकर लड़ेंगे।

उल्लेखनीय है कि कांग्रेस नेताओं को लगने लगा है कि कर्नाटक चुनाव के बाद अब पार्टी की ताकत बारगेनिंग की नहीं रही तो जो शरद पवार कहेंगे वही मान लिया जाएगा। पवार भी नतीजे वाले दिन दिल्ली पहुंच गए। जानकारी के मुताबिक राहुल गांधी जल्द ही एनसीपी प्रमुख से मुलाकात करेंगे। वहीं मनसे प्रमुख राज ठाकरे ने एक बार फिर ईवीएम को निशाना बनाया है। उन्होंने कहा कि मोदी को ईवीएम ने जिताया है। कर्नाटक के नतीजों का असर पड़ोसी महाराष्ट्र की राजनीति पर भी पड़ेगा। 

Yaspal

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