जिस जगह उतरेगा चंद्रयान-2, उसे एक अनूठा नाम देगा ISRO

Wednesday, Jul 24, 2019 - 12:00 PM (IST)

बेंगलुरु: देश के दूसरे चंद्र मिशन के प्रक्षेपण के बाद भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने मंगलवार को कहा कि ‘चंद्रयान-2’ अंतरिक्ष यान अच्छी स्थिति में है और सही दिशा में आगे बढ़ रहा है। भारत ने सोमवार को आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा से अपने सशक्त राकेट जी.एस.एल.वी.-मार्क 3 एम.1 के माध्यम से ‘चंद्रयान-2’ का प्रक्षेपण किया था। इसरो के एक अधिकारी ने कहा कि इस समय इस मिशन पर किसी अपडेट की जरूरत नहीं है। उन्होंने कहा, ‘‘वैसे तो एक छोटी-सी उपलब्धि है जिसे हम अभी नहीं बताएंगे लेकिन जब सही समय आएगा तो उसकी सूचना सामने रखेंगे।’’ इसरो ने कहा है कि चंद्रयान-2 के रॉकेट से अलग होने के तत्काल बाद इस अंतरिक्ष यान का सौर पैनल अपने आप तैनात हो गया और बेंगलुरु में इसरो के टैलीमेट्री, ट्रैकिंग और कमान नैटवर्क ने इस अंतरिक्ष यान का नियंत्रण सफलतापूर्वक अपने हाथ में ले लिया।


जहां उतरेगा चंद्रयान-2, उसका रखा जाएगा नाम
चंद्रयान-2 जहां लैंड करेगा इसरो उस जगह को नाम देना चाहता है। इसके लिए इसरो के उच्च अधिकारी और सरकार से जुड़े अहम लोग कुछ नामों की छंटनी कर रहे हैं। यह नाम उन जगहों को दिया जाना है, जहां 'विक्रम' लैंड करने वाला है। इसरो चेयरमैन के.सिवन ने बताया कि वे नामों की खोज कर रहे हैं और ऐसै करने के लिए उनके पास पर्याप्त समय भी है।


पीएम चुन सकते हैं नाम
माना जा रहा है कि जब कोई एक नाम चुन लिया जाएगा तो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लैंडिंग साइट के नाम का ऐलान कर सकते हैं। हालांकि इसरो तब तक उस नाम का ऐलान नहीं करेंगा जब तक चंद्रयान-2 सफलतापूर्व चांद पर पहुंच नहीं जाता। सबकुछ सफलतापूर्वक लैंडिंग पर निर्भर है। हालांकि वैज्ञानिक चंद्रयान-2 की सफल लैंडिंग को लेकर पूरी तरह आश्वस्त हैं। लैंडिंग के 15 मिनट बहुत महत्वपूर्ण रहने वाले हैं। अगर भारत का मिशन मून सफल रहता है तो वह रूस, अमेरिका और चीन के क्लब में शामिल हो जाएगा।

Seema Sharma

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