जब मंडप से दुल्हन को गुंडों की तरह उठा ले गए सरकारी अफसर

Thursday, Apr 23, 2015 - 12:13 PM (IST)

इंदौर: बारात पहुंच चुकी थी, दूल्हा मंडप में बैठा था और दुल्हन मंडप की ओर जा रही थी कि तभी कुछ ऐसा हुआ कि वहां मौजूद सभी लोगों के होश उड़ गए। दरअसल सरकारी मुलाजिम लड़की को गुंडों की तरह उठाकर ले गए और दो थानों के चक्कर लगवाने के बाद देर रात घर छोड़ गए। किसी तरह शादी की रस्में हुईं और विदाई होने ही वाली थी कि सरकारी अफसर फिर पहुंच गए और दुल्हन को उठाकर अस्पताल ले आए। दिनभर बैठाकर रखा और शाम को इस धमकी के साथ छोड़ा कि कुछ दिन बाद दोबारा दुल्हन को लाना पड़ेगा।

दरअसल  महिला सशक्तीकरण विभाग को शिकायत मिली थी कि परदेशीपुरा में पूनम केवट का बाल विवाह हो रहा है। बस इसी शिकायत के आधार पर लड़की दो दिनभर चक्कर लगवाए गए। बाल विवाह रोकने के नाम पर अफसरों ने परदेशीपुरा के एक गरीब परिवार की मंगलवार शाम से बुधवार शाम तक ऐसी फजीहत कर दी कि वे समाज में सिर उठाने लायक नहीं बचे।

टीम मौके पर पहुंची तो बरात आ चुकी थी। लड़की की उम्र संबंधी दस्तावेज मांगे गए तो परिवार के पास नहीं थे। टीम ने मेडिकल जांच कराने का फैसला लिया। हीरानगर थाने की पुलिस ने गत मंगलवार शाम दुल्हन को परदेशीपुरा थाने छोड़ दिया। वहां लड़की परेशान होती रही और परीक्षण की व्यवस्था नहीं हो सकी तो फिर रात 11 बजे घर ले जाकर छा़ेड दिया।

रात में शादी की रस्में तो हुईं लेकिन रंग में भंग पड़ जाने से परिवार का पूरा खाना फेंकने में चला गया। रात में ही बरात विदा होना थी लेकिन अफसरों के दबाव में बरात रुकी रही। बुधवार सुबह फिर अफसर पहुंचे और 10 बजे दुल्हन को एमवायएच लेकर गए। दिनभर दुल्हन चाइल्ड लाइन और विभाग के अधिकारियों के साथ अस्पताल में घूमती रही लेकिन उम्र की जांच नहीं हो सकी।

इधर, परिजन बरातियों के हाथ-पैर जोड़कर जैसे-तैसे रोकते रहे। जब अधिकारी खुद डॉक्टरों की लापरवाही से परेशान हो गए तो लड़की को फिर घर छोड़कर चले गए। परिवार को यह चेतावनी दी कि हम फिर उम्र की जांच करेंगे। नाबालिग निकली तो कानून के मुताबिक शादी निरस्त हो सकती है।

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