कांग्रेस आलाकमान से मिले हरीश रावत, संकट टालने का दावा

Monday, May 30, 2016 - 09:15 PM (IST)

नई दिल्ली : उत्तराखंड से राज्यसभा की एकमात्र सीट के लिए नामांकन को लेकर प्रमुख सहयोगी पीडीएफ और कांग्रेस पार्टी के एक वर्ग के बीच टकराव की स्थिति में सीएम हरीश रावत ने सोमवार को दावा किया कि विवाद सुलझा लिया गया है। 

यहां पार्टी आलाकमान से मुलाकात करने वाले रावत से जब पूछा गया कि क्या राज्यसभा के नामांकन को लेकर उठा राजनीतिक तूफान शांत हो गया है तो उन्होंने कहा, ‘ऐसा कभी नहीं था। हम बहुत अनुशासित सिपाही हैं। हम हमेशा आलाकमान के निर्णय का पालन करते हैं। लेकिन कुछ मुद्दे हो सकते हैं, जो हम आलाकमान के सामने उठाते हैं।’ 

कांग्रेस द्वारा विश्वास में नहीं लिए जाने से नाखुश सहयोगी पीडीएफ ने प्रदेश सरकार के मंत्री दिनेश धनई को राज्यसभा के लिए अपना उमीदवार घोषित किया था। इससे पहले कांग्रेस ने अल्मोड़ा के पूर्व सांसद प्रदीप टमटा का नाम तय किया था। पीडीएफ के राज्य विधानसभा में छह विधायक हैं। इसके अलावा राज्य में कांग्रेस के वरिष्ठ मंत्री यशपाल आर्य ने भी खबरों के मुताबिक धमकी दी है कि अगर टमटा को राज्यसभा में भेजने का फैसला रद्द नहीं किया गया तो वह कैबिनेट और पार्टी से इस्तीफा दे देंगे।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलने यहां आए रावत ने हालात को नियंत्रण में लाने के लिए कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के राजनीतिक सचिव अहमद पटेल से अलग से मुलाकात की। हाल ही में हुए शक्ति परीक्षण में सरकार को बचाने वाली सहयोगी पीडीएफ के टमटा का नाम घोषित करने और कांग्रेस द्वारा राज्यसभा सीट के लिए पीडीएफ की मांग पर विचार नहीं करने से नाराज होने की खबरों को तवज्जो नहीं देते हुए रावत ने कहा, ‘नाराजगी का कोई सवाल नहीं है। कांग्रेस और पीडीएफ एक हैं। सरकार हम दोनों की है। इसे कांग्रेस-पीडीएफ सरकार कहा जाता है।’

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