चीन, रूस के बाद अब भारत की आस्ट्रेलिया व जापान के साथ वार्ता

Tuesday, Dec 12, 2017 - 07:36 PM (IST)

नई दिल्ली (रंजीत कुमार): दक्षिण चीन सागर और हिंद महासागर के इलाके में समुद्री सुरक्षा और खुली आवाजाही के मसले पर यहां मंगलवार को भारत और आस्ट्रेलिया के बीच द्विपक्षीय वार्ता हुई और बुधवार को इसे त्रिपक्षीय वार्ता का स्वरूप देकर इसमें जापान को भी शामिल किया जाएगा। माना जा रहा है कि बुधवार को होने वाली त्रिपक्षीय वार्ता में भी दक्षिण चीन सागर में चीन के विस्तारवादी और आक्रामक रवैये पर गहन चर्चा होगी। आस्ट्रेलिया के साथ द्विपक्षीय वार्ता के बाद आधिकारिक बयान में कहा गया कि दोनों के बीच सामरिक नजरिये में समानता बढ़ती जा रही है। 

भारतीय विदेश सचिव व रक्षा सचिव ने लिया भाग 
सामरिक और रक्षा सम्बन्धों को प्रगाढ़ करने और इसके विभिन्न पहलुओं पर समग्रता में चर्चा करने के इरादे से भारत और आस्ट्रेलिया के रक्षा और विदेश मंत्रालय के आला अधिकारियों ने पहली बार टू प्लस टू डायलाग का नया सिलसिला शुरू किया। विदेश सचिव स्तर की इस वार्ता में आस्ट्रेलिया के विदेश और रक्षा मंत्रालयों के सचिव स्तर के अधिकारियों के साथ भारतीय विदेश सचिव एस जयशंकर और रक्षा सचिव संजय मित्र ने भाग लिया। 

इन वार्ताओं से सुरक्षा को मिलेगी मजबूती 
दोनों देशों की इस द्विपक्षीय बातचीत के बाद जापान के साथ बुधवार को त्रिपक्षीय बातचीत का भी एक दौर चलेगा। उल्लेखनीय है कि पिछले महीने ही मनीला में चार देशों जापान, आस्ट्रेलिया, अमरीका और भारत के वरिष्ठ अधिकारियों के बीच चर्तुपक्षीय बातचीत हुई थी। इसके तुरंत बाद भारत, आस्ट्रेलिया और जापान की त्रिपक्षीय वार्ता का आयोजन एशिया प्रशांत इलाके में नये समीकरण के ठोस रूप लेने का सूचक है। भारतीय रणनीतिकारों का मानना है कि इन वार्ताओं से हिंद प्रशांत इलाके में शांति व सुरक्षा को मजबूती देने में मदद मिलेगी। 

भारत की नई कूटनीति
उल्लेखनीय है कि सोमवार को ही भारत ने चीन और रूस के साथ त्रिपक्षीय वार्ता की 15वीं सालाना बैठक की है। इस त्रिपक्षीय वार्ता के तुरंत बाद मंगलवार को आस्ट्रेलिया के साथ द्विपक्षीय वार्ता  और बुधवार को जापान को साथ लेकर त्रिपक्षीय वार्ता की भारत द्वारा की जा रही मेजबानी काफी अहम है। एशिया प्रशांत इलाके में अपने सामरिक हितों की रक्षा करने और सामरिक तालमेल बनाने के इरादे से इन बहुपक्षीय वार्ताओं का सिलसिला तेज होने पर सामरिक हलकों की विशेष निगाह है। यहां राजनयिक पर्यवेक्षकों का कहना है कि भारत द्वारा परस्पर विरोधी देशों के साथ इस तरह की वार्ताओं का दौर चलाना भारतीय कूटनीति का एक नया आयाम है जिसमें भारत अपने प्रतिदं्वद्वी देशों के साथ रिश्तों पर दो टूक बातचीत के अलावा समान सामरिक चिंताओं वाले देशों के साथ अपने हितों को संरक्षित करने की कोशिश कर रहा है। 

भारत और आस्ट्रेलिया के बीच बढ़ रहे द्विपक्षीय संबंध 
भारत और आस्ट्रेलिया के बीच हुई द्विपक्षीय वार्ता के बारे में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने इतना ही बताया कि भारत और आस्ट्रेलिया इस बात पर सहमत हुए कि एक खुला, मुक्त, समावेशी और समृद्ध हिंद प्रशांत इलाका न केवल क्षेत्र के सभी देशों के दीर्घकालीन हितों के अनकूल है बल्कि इससे पूरी दुनिया के हित भी प्रभावित होते हैं। भारत और आस्ट्रेलिया समान जनतांत्रिक मूल्यों में विश्वास करने वाले देश हैं जिनके बीच मधुर द्विपक्षीय रिश्ते चल रहे हैं।  टू प्लस टू डायलाग के बाद आस्ट्रेलिया के रक्षा मंत्री ग्रेग मोरियार्टी ने नौसेना प्रमुख एडमिल सुनील लांबा से मुलाकात की और बाद में नई दिल्ली में राजपुताना राइफल्स सेंटर का दौरा किया।
 

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