मां का मोटापा बच्चे के लिए खतरनाक, जानते हैं कैसे? (PICS)

punjabkesari.in Saturday, Feb 06, 2016 - 12:38 PM (IST)

मोटापा खतरनाक बीमारियों की जड़ है। इसे कंट्रोल में रखना बहुत ही जरूरी है क्योंकि मोटापे के बाद डायबिटीज, हार्ट अटैक, ब्लोकेज और घुटनों-टखनों की परेशानियां सामने आती हैं। यह किसी तरह से भी अच्छा नहीं है। गर्भवती महिला अगर मोटापा या शुगर से पीड़ित हैं तो यह उसके लिए तो खतरनाक है ही बल्कि उसके बच्चे पर भी बुरा असर डालते हैं।

एक नए रिसर्च में यह बात सामने आई है कि जो महिलाएं मोटापे और डायबिटीज की शिकार होती हैं उनके बच्चों को ऑटिज्म स्पेक्ट्रम की समस्या होने की ज्यादा संभावना होती है। यह दिमागी समस्या बच्चे के जन्म लेने से पहले ही हो जाती है, जिसमें उसका दिमागी विकास रूक जाता है।

यह शोध अमरीका के जॉन्स हॉपकिन्स ब्लूमबर्ग स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ ने कराया है, जिसके मुख्य लेखक जियोबिन बैंग के अनुसार, प्रेग्नेंट महिलाओं के लिए मोटापा और डायबिटीज अच्छी नहीं है। यह बात भी कही गई है कि डायबिटीज और मोटापे से बच्चे का न्यूरोडेवलपमेंट भी लंबे समय तक प्रभावित हो सकता है।

इस शोध के दूसरे लेखक एम डेनियेली फॉलिन के अनुसार, ''हमारे शोध बताते हैं कि ऑटिज्म का खतरा भ्रूण बनने के साथ शुरू हो जाता है.'' सामान्य वजन वाली महिलाओं के बच्चों के मुकाबले जिन महिलाओं को मोटापा और शुगर, दोनों ही समस्याएं होती हैं उनके बच्चों में ऑटिज्म का खतरा चार गुना ज्यादा होता है। यह शोध पत्रिका ''पीडियाट्रिक्स'' में प्रकाशित हुआ है।

इस शोध के दौरान वर्ष 1998-2014 के बीच शोधकर्त्ताओं ने 2,734 महिलाओं और उनके बच्चों को स्टडी किया। शोध के दौरान इनमें से करीब 100 बच्चों में ऑटिज्म स्पेक्ट्रम की समस्या देखी गई, जिसे मोटापा और शुगर के पहले संभावित रिस्क फैक्टर्स के रूप में देखा गया।

 

 


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