ईडी ने महाराष्ट्र के मंत्री अनिल परब से दूसरे दिन छह घंटे से अधिक समय तक पूछताछ की
Thursday, Jun 23, 2022 - 12:47 AM (IST)
मुंबई, 22 जून (भाषा) प्रवर्तन निदेशालय ने धन शोधन मामले में महाराष्ट्र के परिवहन मंत्री अनिल परब से लगातार दूसरे दिन बुधवार को छह घंटे से अधिक समय तक पूछताछ की।
इस संबंध में एक अधिकारी ने कहा कि परब महाराष्ट्र के रत्नागिरि जिले के दापोली समुद्र तट क्षेत्र में साई रिसॉर्ट के निर्माण में तटीय विनियमन क्षेत्र के प्रावधानों के कथित उल्लंघन से जुड़ी धनशोधन जांच में पूछताछ के लिए अपराह्न करीब 3.45 बजे ईडी कार्यालय पहुंचे। अधिकारी ने बताया कि पूछताछ के बाद मंत्री रात साढ़े दस बजे केंद्रीय एजेंसी के कार्यालय से निकले।
ईडी ने परब को बृहस्पतिवार को भी पूछताछ के लिए बुलाया है। केंद्रीय एजेंसी ने परब से मंगलवार को 10 घंटे से अधिक समय तक पूछताछ की थी और बुधवार के दिन भी सुबह के समय पेश होने को कहा था। हालांकि, राज्य के राजनीतिक घटनाक्रम को देखते हुए उन्होंने पेश होने के लिए और समय मांगा था। परब (57) के पास परिवहन तथा संसदीय मामलों के विभाग हैं।
ईडी ने उनके और अन्य के खिलाफ धनशोधन निवारण अधिनियम के तहत एक नया मामला दर्ज करने के बाद मई में उनके परिसरों और उनसे कथित रूप से जुड़े लोगों के परिसरों पर छापा मारा था। हालांकि, शिवसेना नेता ने किसी भी तरह की गड़बड़ी करने से इनकार किया है।
यह आर्टिकल पंजाब केसरी टीम द्वारा संपादित नहीं है, इसे एजेंसी फीड से ऑटो-अपलोड किया गया है।
इस संबंध में एक अधिकारी ने कहा कि परब महाराष्ट्र के रत्नागिरि जिले के दापोली समुद्र तट क्षेत्र में साई रिसॉर्ट के निर्माण में तटीय विनियमन क्षेत्र के प्रावधानों के कथित उल्लंघन से जुड़ी धनशोधन जांच में पूछताछ के लिए अपराह्न करीब 3.45 बजे ईडी कार्यालय पहुंचे। अधिकारी ने बताया कि पूछताछ के बाद मंत्री रात साढ़े दस बजे केंद्रीय एजेंसी के कार्यालय से निकले।
ईडी ने परब को बृहस्पतिवार को भी पूछताछ के लिए बुलाया है। केंद्रीय एजेंसी ने परब से मंगलवार को 10 घंटे से अधिक समय तक पूछताछ की थी और बुधवार के दिन भी सुबह के समय पेश होने को कहा था। हालांकि, राज्य के राजनीतिक घटनाक्रम को देखते हुए उन्होंने पेश होने के लिए और समय मांगा था। परब (57) के पास परिवहन तथा संसदीय मामलों के विभाग हैं।
ईडी ने उनके और अन्य के खिलाफ धनशोधन निवारण अधिनियम के तहत एक नया मामला दर्ज करने के बाद मई में उनके परिसरों और उनसे कथित रूप से जुड़े लोगों के परिसरों पर छापा मारा था। हालांकि, शिवसेना नेता ने किसी भी तरह की गड़बड़ी करने से इनकार किया है।
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