चंडीगढ़ प्रशासन बनाएगा नई डेपुटैशन पॉलिसी

Wednesday, Dec 13, 2017 - 02:59 PM (IST)

चंडीगढ़, (रश्मि रोहिला) : यू.टी कैडर एजुकेशनल एंप्लॉय यूनियन द्वारा पिछले सात साल से उठाए जा रहे मुद्दे के मद्देनजर हुए चंडीगढ़ प्रशासन अब नई डेपुटैशन पॉलिसी बनाने जा रहा है। इसे लेकर चंडीगढ़ प्रशासन ने बैठक रखी है। इसमें यू.टी. कैडर एजुकेशनल एंपलॉय यूनियन के प्रधान स्वर्ण सिंह कंबोज और यूनियन सदस्य प्रदीप भी शामिल होगें। ड्राफ्ट पॉलिसी को पंजाब व हरियाणा की सहमति से ही तैयार किया जाएगा। 


एजुकेशन सैक्रेटरी की कमेटी गठन
जानकारी के अनुसार नई डैपुटेशन पॉलिसी तैयार करने के लिए गवर्नर वी.पी सिंह बदनौर द्वारा पंजाब-हरियाणा और चंडीगढ़ के एजुकेशन सेक्रेटरी की कमेटी का गठन किया है। वहीं चंडीगढ़ के फाइनैंस सैक्रेटरी अजोय कुमार सिन्हा को इस कमेटी का कन्वीनर बनाया है। बताया जा रहा है कि नई ड्रा्रफ्ट पॉलिसी में डैपुटैशन पिरियड पांच वर्ष से बढ़ाकर 7 वर्ष का कर दिया जाएगा। इसके बाद कोई भी शिक्षक सात वर्ष से अधिक चंडीगढ़ में नहीं ठहर सकेगा। उसे फिर से डेपुटैशन पर आने के लिए पेरेंट स्टेट लौटना होगा। शिक्ष्कों को प्रमोशन के लिए भी पहले अपने कैडर में लौटना होगा। ड्राफ्ट पॉलिसी के अनुसार यदि किसी शिक्षक की प्रमोशन होती है और वह चंडीगढ़ में पूरे 7 साल लगाना चाहता है तो उसे इस दौरान प्रमोशन नहीं मिलेगी। अभी जो डैपुटेशन पॉलिसी लागू है उसके तहत चंडीगढ़ में डेपुटेशन पर आने के लिए शिक्षकों का डेपुटेशनिस्ट पीरियड 4 वर्ष का है जिन्हें किसी विशेष परिस्थितियों में ही 5 वर्ष के लिए बढ़ाया जा सकता है। लेकिन अभी तक चंडीगढ़ में डैपुटेशन पर आने वाले शिक्षक यहां से जाने की बजाय जमकर ही बैठ गए हैं। स्वर्ण सिंह कंबोज का कहना है कि चंडीगढ़ प्रशासन द्वारा नई डेपुटैशन पॉलिसी बनाने का जो फैसला लिया है बिल्कुल सही है। 

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