South Korea: क्या राष्ट्रपति Yoon Suk-yeol का भविष्य संकट में? अब विशेष वकील से होगी जांच

punjabkesari.in Friday, Jan 10, 2025 - 06:05 PM (IST)

इंटरनेशनल डेस्क: दक्षिण कोरिया की संसदीय न्यायपालिका उपसमिति ने शुक्रवार को एक महत्वपूर्ण विधेयक पारित किया, जिसके तहत महाभियोग लगाए गए राष्ट्रपति यूं सुक-योल के असफल मार्शल लॉ प्रयास की विशेष वकील से जांच कराए जाने की सिफारिश की गई है। विपक्षी दलों ने यह विधेयक एकतरफा रूप से पारित किया, जबकि सत्तारूढ़ पीपुल्स पावर पार्टी (पीपीपी) के सांसदों ने इसका विरोध करते हुए मतदान से बहिष्कार किया।

विशेष वकील की नियुक्ति पर विवाद का मंजर

विधेयक के नए संस्करण में प्रस्ताव है कि सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश को राष्ट्रपति यूं सुक-योल के खिलाफ विद्रोह के आरोपों की जांच के लिए विशेष वकील की सिफारिश करने का अधिकार दिया जाए। विपक्षी दलों का कहना है कि यह कदम राष्ट्रपति के खिलाफ एक पारदर्शी और निष्पक्ष जांच सुनिश्चित करेगा। वहीं, पीपीपी के सांसदों का आरोप है कि इस कदम से राजनीतिक उद्देश्य साधे जा रहे हैं और विपक्षी दल केवल सत्ता में आने के लिए इसका इस्तेमाल कर रहे हैं।

इससे पहले, दो दिन पहले एक विधेयक खारिज कर दिया गया था, जिसमें विपक्षी दलों की ओर से विशेष वकील की सिफारिश की गई थी। हालांकि, इस नए विधेयक में एक महत्वपूर्ण खंड जोड़ा गया है, जिससे विपक्षी दलों को यदि कोई उम्मीदवार अयोग्य पाया जाता है तो वे नई सिफारिश का अनुरोध कर सकते हैं।

राष्ट्रपति सुरक्षा सेवा प्रमुख का इस्तीफा

इस राजनीतिक संकट के बीच, दक्षिण कोरिया के कार्यवाहक राष्ट्रपति चोई सांग-मोक ने राष्ट्रपति सुरक्षा सेवा (PSS) प्रमुख पार्क चोंग-जून का इस्तीफा स्वीकार कर लिया है। पार्क पर आरोप है कि उन्होंने उच्च-स्तरीय अधिकारियों के भ्रष्टाचार जांच कार्यालय को राष्ट्रपति यूं सुक-योल को गिरफ्तार करने के लिए अदालत द्वारा जारी वारंट को निष्पादित करने से रोका था। पार्क ने पहले पुलिस की जांच में दो बार शामिल होने से इनकार किया था, लेकिन तीसरे अनुरोध पर उन्होंने पुलिस के सामने आत्मसमर्पण किया। वित्त मंत्रालय ने एक बयान जारी कर कहा कि पार्क का इस्तीफा स्वीकार कर लिया गया है, और उन पर आधिकारिक कर्तव्यों में बाधा डालने का आरोप है।

गिरफ्तारी की कोशिशें और बढ़ता तनाव

दक्षिण कोरिया की पुलिस और भ्रष्टाचार जांच कार्यालय अब राष्ट्रपति यूं सुक-योल को गिरफ्तार करने के लिए दूसरा प्रयास कर रहे हैं। राष्ट्रपति पर आरोप है कि उन्होंने दिसंबर में देश में मार्शल लॉ लगाने का प्रयास किया था, जो असफल रहा। राष्ट्रपति ने सीआईओ और पुलिस द्वारा जारी किए गए समन और गिरफ्तारी वारंट में सहयोग करने से इनकार किया, यह कहते हुए कि उनके पास ऐसे आरोपों की जांच करने का अधिकार नहीं है। पुलिस और सीआईओ अब विचार कर रहे हैं कि अगर PSS के सदस्य राष्ट्रपति को गिरफ्तार करने के दूसरे प्रयास में बाधा डालते हैं, तो उन्हें हिरासत में लिया जाए या नहीं। यह स्थिति दक्षिण कोरिया की राजनीति में और भी जटिलता पैदा कर रही है और आने वाले दिनों में इस मामले में नए मोड़ आने की संभावना है।

 

 


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Content Editor

Ashutosh Chaubey

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