कोरोना उत्पत्ति पर WHO ने फिर किया ड्रैगन का बचाव, कहा- चीन को और आंकड़ों लिए नहीं कर सकते मजबूर

Tuesday, Jun 08, 2021 - 11:34 AM (IST)

इंटरनेशनल डेस्कः कोरोना वायरस की उत्पत्ति को लेकर अमेरिका समेत दुनिया के कई चीन के खिलाफ आवाज उठा रहे हैं। चीन से निकल कर दुनिया भर में तबाही मचाने वाले कोरोना वायरस की उत्पति का पता लगाने में जुटा अमेरिका अब ड्रैगन के खिलाफ किसी भी हालत में नरमी बरतने के मूड में नहीं है। हांलाकि इस मामले में अब तक ठोस सबूत सामने नहीं आए हैं लेकिन तमाम विशेषज्ञ कोरोना प्रसार के लिए चीन को ही जिम्मेदार मान रहे हैं।

अमेरिका के जो बाइडेन प्रशासन ने कोरोना उत्पति की जड़ तक जाने के लिए पूरी दुनिया के देशों व विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) से सहयोग मांगा है।  इस मामले की जांच में WHO की भूमिका शुरू से ही संदिग्ध रही है और इस पर चीन का पिट्ठू होने के आरोप लगते रहे हैं। WHO ने एक बार चीन का हिमायती होने का सबूत दिया है और अमेरिका द्वारा वायरस की उत्पति की पारदर्शी जांच में सहयोग करने मांग पर कहा है कि वह चीन को मजबूर नहीं कर सकता कि वह इसको लेकर और अधिक आंकड़े उपलब्ध कराए।

WHO ने कहा कि हालांकि वह इस बात पर जोर देता रहेगा कि इस बात की जांच जारी रहनी चाहिए कि आखिर वायरस कहां से आया और इस तरह दुनिया में फैल गया। अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकेन ने कोरोना वायरस के लिए चीन को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि कोरोना वायरस के खात्मा करना है और अगर भविष्य में इस तरह की महामारी से बचना है तो इसकी तह तक जाना होगा। उन्होंने कहा कि चीन अब तक उस तरह से जांच नहीं करने दे रहा, जैसी जांच होनी चाहिए थी।

अमेरिकी विदेश मंत्री ने एक साक्षात्कार के दौरान कहा कि महामारी (कोरोना) की तह तक जाने के पीछे सबसे बड़ी वजह यह है कि यही एक तरीका है, जिससे हम अगली महामारी से बच सकते हैं या इसे खत्म करने के लिए बेहतर प्रयास कर सकते हैं। अमेरिकी विदेश मंत्री ब्लिंकेन ने कहा, 'वायरस को लेकर चीन वैसी पारदर्शिता नहीं बरत रहा और न ही उस तरह की जानकारी दे रहा है, जैसी इसकी जांच के लिए जरूरी है। ब्लिंकेन ने कहा कि बीजिंग अंतरराष्ट्रीय जांचकर्ताओं को प्रवेश दे और उन्हें हर जरूरी जानकारी भी मुहैया कराए ताकि इस महामारी का दुनिया से खात्मा किया जा सके।

Tanuja

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