बांगलादेश में दर-दर भूखे भटक रहे पाकिस्तानी छात्र, इमरान खान ने वापस बुलाने से किया इंकार

Saturday, Apr 11, 2020 - 02:42 PM (IST)

इस्‍लामाबादः विदेशों में फंसे पाकिस्‍तान के छात्र-छात्राएं इमरान खान सरकार को जमकर कोस रहे हैं। बांग्‍लादेश में कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों के बीच पाक के छात्र दर-दर भटकने को मजबूर हैं और बिस्किट खाकर जिंदगी बसर कर रहे हैं। लेकिन कोरोना वायरस से जंग के लिए अरबों डॉलर का बजट घोष‍ित करने वाले प्रधानमंत्री इमरान खान बांग्‍लादेश में फंसे अपने 300 स्‍टूडेंट्स को वापस बुलाने से इंकार कर दिया है। यही नहीं इनके साथ पढ़ाई कर रहे भारत, भूटान, श्रीलंका और नेपाल के छात्र अपने देश लौट गए हैं।

 

सार्क कोटे से मिली स्‍कॉलरशिप के तहत पढ़ाई कर रही पाकिस्‍तानी छात्रा रिजा हामीद ने डॉन न्‍यूज से कहा, 'इससे पहले मैं राजशाही में एक हॉस्‍टल में रहता था। जब मेरे साथ पढ़ने वाले नेपाल, भारत, श्रीलंका और भूटान के छात्र अपने देश को लौट गए तो मुझे ढाका के एक हॉस्‍टल में शिफ्ट कर दिया गया।' ज्‍यादातर पाकिस्‍तान छात्र और छात्राओं को बहुत कम खाना मिल रहा है। उन्‍होंने बताया कि ढाका में लॉकडाउन है और वहां का हेल्‍थ स‍िस्‍टम बहुत खराब है। इससे पाकिस्‍तानी छात्रों की टेंशन और बढ़ती जा रही है। रिजा ने कहा, 'हमें खाने में ब्रेड और जाम या बिस्‍कुट मिल रहा है।' बांग्‍लादेश में अब तक कोरोना वायरस के 218 मामले सामने आ चुके हैं और 20 लोगों की मौत हो गई है।

 

पाकिस्‍तानी छात्रों को डर सता रहा है कि बेहद घनी आबादी वाले बांग्‍लादेश में अगर कोरोना ने पैर पसार ल‍िए तो जिंदा बचना मुश्किल होगा। दरअसल, पाकिस्‍तान खुद ही इन दिनों कोरोना वायरस के संकट से जूझ रहा है। पाकिस्तान में गुरुवार को कोरोना वायरस संक्रमण के 248 मामले सामने आने के बाद देश में कुल संक्रमित लोगों की संख्या 4,322 तक पहुंच गई है।

 

पाकिस्तान में अधिकारियों को दो सप्ताह के आंशिक बंद के बाद भी तेजी से फैलने वाले इस वायरस को रोकने में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। राष्ट्रीय स्वास्थ्य सेवा मंत्रालय के अनुसार इस संक्रमण से देश में अब तक 63 लोगों की मौत हो चुकी है जिनमें से पांच की मौत तो एक ही दिन में हुई। अब तक कुल 572 लोग इस वायरस के संक्रमण से मुक्त हुए हैं। वहीं 31 लोगों की हालत नाजुक है।

Tanuja

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