धमाकों के बाद श्रीलंका सरकार का आदेश, मस्जिदों में दिए जाने वाले भाषणों की आॅडियो कॉपी दिखाएं

Saturday, May 11, 2019 - 06:40 PM (IST)

कोलंबो: श्रीलंका की सरकार ने शुक्रवार को देश के सभी मस्जिदों के न्यासियों से कहा है कि वह घृणा का प्रचार और बढ़ावा देने वाली किसी भी बैठक में न तो शामिल हों और न ही उसकी मंजूरी दें। सरकार ने उन्हें धार्मिक संबोधनों की रिकॉर्डिंग भी अधिकारियों को भेजने के निर्देश दिए हैं। श्रीलंका में 21 अप्रैल को हुए विस्फोटों में 250 से अधिक लोगों की मौत हो गई थी और 500 अन्य घायल हो गए थे। मृतकों में 10 भारतीय समेत 44 विदेशी नागरिक थे। 

इस घटना के बाद तलाश अभियान के दौरान सुरक्षाबलों ने मस्जिदों से तलवार और अन्य हथियार बरामद किए हैं। इसके बाद ही सरकार ने यह कदम उठाया है। मुस्लिम धार्मिक मामलों के मंत्रालय की ओर से एक बयान जारी किया गया है। इसमें मस्जिदों के न्यासियों से कहा गया है कि वह घृणा या चरमपंथ का प्रचार करने वाली किसी भी बैठक में न तो शामिल हों और न ही ऐसा करने की मंजूरी दें और अगर वह ऐसा करते हैं तो दंड संहिता सहित कई अन्य कानूनों के तहत उन्हें पूरी तरह से जिम्मेदार ठहराया जाएगा। 

मुस्लिम धार्मिक मामलों के मंत्री एम एच ए हलीम ने इस बयान पर हस्ताक्षर किया है। इस बयान में कहा गया है कि देश की मौजूदा स्थिति को देखते हुए न्यासियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे मस्जिदों में होने वाले जुमा (शुक्रवार की नमाज) के खुतबे (धार्मिक संबोधन) और अन्य चीजों का ऑडियो रिकॉर्ड करके मंत्रालय को भेजें। 

shukdev

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