सुरक्षा परिषद की सीट को लेकर इटली और नीदरलैंड में कांटे की टक्कर

Wednesday, Jun 29, 2016 - 11:53 AM (IST)

संयुक्त राष्ट्र : संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में कजाखस्तान के पहली बार चुने जाने पर और तीन सीटों पर बोलिविया, इथोपिया एवं स्वीडन की सदस्यता तय हो जाने के बाद शेष बची सीट के लिए इटली और नीदरलैंड में कांटे की टक्कर वाली स्थिति पैदा हो गई है ।

संयुक्त राष्ट्र की 193 सदस्यीय महासभा द्वारा कल 5 अस्थाई सीटों के लिए मतदान किया जाना था । गुप्त मतदान के पहले चरण में इनमें से 3 सीटें भर गईं । कजाखस्तान ने दूसरे चरण में थाइलैंड को पछाड़ दिया । उसके हिस्से में 138 वोट आए जबकि थाइलैंड को 55 वोट मिले थे । कजाखस्तान ने वर्ष 1991 में सोवियत संघ से आजादी मिलने के बाद से पहली बार सुरक्षा परिषद की सीट हासिल की है । मतदान के 5 चरणों के बाद नीदरलैंड अैर इटली दोनों ही जरूरी बहुमत से कम संख्याबल पर रहे । दोनों को ही 95-95 प्रतिशत वोट मिले थे । यह बात अभी स्पष्ट नहीं हुई है कि परिषद की शेष सीट को भरने के लिए कितने चरण का मतदान होगा ।

वर्ष 1979 में, संयुक्त राष्ट्र के प्रतिनिधियों ने कोलंबिया और क्यूबा के बीच मुकाबले के दौरान 154 बार मतदान किया था । अंतत: 155वें चरण में समझौते स्वरूप चुने गए उम्मीदवार के तौर पर मेक्सिको को चुना गया था । इटली ने परिषद की सीट हासिल करने के लिए भारी लॉबिंग की थी । उसने खुद को भूमध्यसागर के दोराहे पर पड़ने वाले देश के रूप में पेश करते हुए शरणार्थी संकट से निपटने में अपने अनुभव को सामने रखा था । लीबिया को अराजक स्थिति से निकालने में भी इस देश की भूमिका मानी जाती है। अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय और अन्य वैश्विक न्यायाधिकरणों के स्थल नीदरलैंड ने अंतरराष्ट्रीय न्याय के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को निभाया है । स्वीडन की जीत की घोषणा होने के बाद पूरा असेंबली हॉल तालियों से गूंज उठा था। 

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