चीन ने दूसरे विमानवाहक पोत का किया जलावतरण,  दक्षिण चीन सागर में होगा तैनात

Tuesday, Dec 17, 2019 - 11:19 PM (IST)

बीजिंगः चीन ने मंगलवार को अपने दूसरे विमानवाहक पोत का दक्षिण चीन सागर स्थित एक महत्वपूर्ण प्रतिष्ठान से जलावतरण किया। चीन ने इस क्षेत्र में अपनी सैन्य महत्वाकांक्षा को और मजबूत करते हुए इस पोत का जलावतरण किया है। दक्षिण चीन सागर पर बीजिंग के दावे का अमेरिका और अन्य देश विरोध करते रहे हैं।

पोत का नाम शांडोंग प्रांत के नाम पर रखा गया है। चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने दक्षिण चीन सागर स्थित सान्या से इसका जलावतरण किया। यह चीन का पहला स्वदेश निर्मित विमानवाहक पोत है। आधिकारिक मीडिया ने कहा कि ‘लिओनिंग' नाम के विमानवाहक पोत के मुकाबले ‘शांडोंग' काफी बड़ा है जिस पर 36 लड़ाकू विमान आ सकते हैं। ‘लिओनिंग' पोत की क्षमता 24 लड़ाकू विमानों की है। चीन द्वारा तेज गति से विमानवाहक पोतों का निर्माण किया जाना भारत के लिहाज से भी काफी महत्वपूर्ण है।

आधिकारिक मीडिया के अनुसार चीन आगामी वर्षों में पांच से छह विमानवाहक पोत चाहता है। भारतीय नौसेना के पास वर्तमान में ‘आईएनएस विक्रमादित्य' नाम का एक विमानवाहक पोत परिचालन में है। इसका दूसरा विमानवाहक पोत ‘आईएनएस विक्रांत' कोच्चि में निर्माणाधीन है और इसके 2022 में सेवा में आने की उम्मीद है। चीन के सरकार संचालित अखबार ग्लोबल टाइम्स ने कहा कि ‘शांडोंग' को दक्षिण चीन सागर में तैनात किया जाएगा।

 

Pardeep

Advertising