बीए.2 ओमिक्रॉन की बहन जैसा, गिरफ्त में ऑस्ट्रेलिया सहित 50 से अधिक देश

Thursday, Feb 03, 2022 - 03:51 PM (IST)

क्वींसलैंड- सार्स-कोव-2 के वेरिएंट ओमिक्रोन के मामले पिछले दो महीनों में वैश्विक स्तर पर बढ़े हैं और कई देशों में तो पिछले वेरिएंट की तुलना में कहीं ज्यादा मामले आए हैं। अब हम ओमिक्रोन के उप-संस्करण के मामले देख रहे हैं, जिसे बीए.2 का नाम दिया गया है और ऑस्ट्रेलिया सहित 50 से अधिक देशों में यह जोर पकड़ रहा है। इस नये उप संस्करण को ओमिक्रोन वेरिएंट बीए.1 (या बी.1.1.529) की बेटी कहने की बजाय, ओमिक्रोन की बहन कहना ज्यादा ठीक होगा।

जरा बताएं तो, एक वेरिएंट क्या होता है?
वायरस, और विशेष रूप से आरएनए वायरस जैसे सार्स-कोव-2, प्रजनन करते समय बहुत सारी गलतियाँ करते हैं। वे इन गलतियों को ठीक नहीं कर सकते हैं, इसलिए उनमें त्रुटियों, या उत्परिवर्तन की अपेक्षाकृत उच्च दर है, और वह लगातार विकसित हो रहे हैं। जब इन उत्परिवर्तन के परिणामस्वरूप किसी वायरस का आनुवंशिक कोड बदल जाता है, तो इसे मूल वायरस के एक वेरिएंट के रूप में संदर्भित किया जाता है। ओमिक्रोन एक बिलकुल अलग तरह का वेरिएंट है, जिसमें स्पाइक प्रोटीन में 30 से अधिक उत्परिवर्तन समाहित होते हैं। इसने पूर्व संक्रमण और टीकाकरण दोनों से एंटीबॉडी की सुरक्षा को कम कर दिया है, और संचरण क्षमता में वृद्धि की है।

स्वास्थ्य अधिकारी नए संस्करण के बारे में कब चिंता करते हैं?
यदि आनुवंशिक कोड में होने वाले परिवर्तन के बारे में यह माना जाए कि वह वायरस को अधिक हानिकारक बनाने की क्षमता रखते हैं और कई देशों में इसका अधिक संचरण होता है, तो इसे ‘‘ध्यान देने योग्य वेरिएंट'' माना जाएगा। यदि ध्यान देने योग्य यह वेरिएंट अधिक संक्रामक दिखे, टीकाकरण या पिछले संक्रमण से सुरक्षा से बचने, और/या परीक्षणों या उपचार की प्रक्रिया को प्रभावित करे, तो इसे ‘‘चिंता का प्रकार'' का नाम दिया जाता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने 26 नवंबर को ओमिक्रोन को चिंता का एक प्रकार वर्गीकृत किया। इसकी उच्च पुनर्संक्रमण दर, बढ़ी हुई संप्रेषणीयता और कम टीका सुरक्षा के कारण ऐसा किए जाने की संभावना है।

ओमिक्रोन की वंशावली क्या है?
एक वंश, या उप-संस्करण, एक सामान्य पूर्वज से प्राप्त वायरस वेरिएंट का आनुवंशिक रूप से निकट से संबंधित समूह है। ओमिक्रोन संस्करण में तीन उप-वंश शामिल हैं: बी.1.1.529 या बीए.1, बीए.2 और बीए.3। डब्ल्यूएचओ ने हालांकि बीए.2 को एक अलग वर्गीकरण नहीं दिया है, यूनाइटेड किंगडम ने बीए.2 को ‘‘जांच के तहत'' एक वेरिएंट की श्रेणी में रखा है। तो डब्ल्यूएचओ की परिभाषाओं के आधार पर अभी तक यह ध्यान देने लायक या चिंता का एक प्रकार नहीं है, लेकिन इसपर बारीकी से नजर रखी जा रही है। उप-वंशों वाला यह पहला संस्करण नहीं है। पिछले साल के अंत में, डेल्टा ‘‘प्लस'' या एवाई.4.2 व्यापक रूप से सामने आया था, फिर ओमिक्रोन आया।

बीए.2 के बारे में क्या अलग है?
बीए.2 के शुरूआती उपक्रम फिलीपीन से मिले थे- और अब हमने इसके हजारों मामले देखे हैं, जो अमेरिका, यूके और ऑस्ट्रेलिया में देखे गए हैं, हालांकि इसकी उत्पत्ति अभी भी अज्ञात है। बीए.2 के सटीक गुणों की भी जांच की जा रही है। हालांकि अभी तक इस बात का कोई सबूत नहीं है कि यह अधिक गंभीर बीमारी का कारण बनता है, वैज्ञानिकों को कुछ विशेष चिंताएं हैं। 1. अंतर करना कठिन है।

एक मार्कर जिसने पीसीआर परीक्षणों के दौरान ओमिक्रोन (बीए.1) को अन्य सार्स-कोव-2 वेरिएंट से अलग करने में मदद की, वह है एस जीन की अनुपस्थिति, लेकिन बीए.2 के लिए ऐसा नहीं है। लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि हम पीसीआर परीक्षणों के साथ बीए.2 का निदान नहीं कर सकते। इसका सीधा सा मतलब है कि जब कोई सार्स-कोव-2 के लिए सकारात्मक परीक्षण करता है, तो हमें जीनोम अनुक्रमण के माध्यम से यह जानने में थोड़ा अधिक समय लगेगा कि कौन सा संस्करण जिम्मेदार है। पिछले वेरिएंट के साथ भी ऐसा ही था। 2. यह अधिक संक्रामक हो सकता है।

बीए.1 की तुलना में अधिक संक्रामक
सबसे ज्यादा चिंता की बात यह है कि इस बात के सुबूत उभर रहे हैं कि बीए.2 मूल ओमिक्रोन, बीए.1 की तुलना में अधिक संक्रामक हो सकता है। डेनमार्क से एक प्रारंभिक अध्ययन, जहां बीए.2 ने बड़े पैमाने पर बीए.1 की जगह ले ली है, यह सुझाव देता है कि बीए.1 की तुलना में बीए.2 बिना टीकाकरण वाले लोगों में संक्रमण की संवेदनशीलता को दो गुना बढ़ा देता है। अध्ययन ने बीए.2 के 2,000 से अधिक प्राथमिक मामलों की जांच की ताकि यह निर्धारित किया जा सके कि सात दिनों की अनुवर्ती अवधि के दौरान कितने मामले सामने आए।

शोधकर्ताओं ने बीए.1 से संक्रमित लोगों में द्वितीय हमले की दर (मूलत:, संभाव्यता संक्रमण) 29% होने का अनुमान लगाया है, जबकि बीए.2 से संक्रमित लोगों के लिए यह 39% है। यह डेनिश अध्ययन अभी भी एक प्री प्रिंट है, जिसका अर्थ है कि इसे स्वतंत्र वैज्ञानिकों द्वारा जांचा जाना बाकी है, इसलिए यह पुष्टि करने के लिए और अधिक शोध की आवश्यकता है कि क्या बीए.2 वास्तव में बीए.1 से अधिक संक्रामक है। 

rajesh kumar

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