Experts की चेतावनीः कोरोना के 30 प्रतिशत निगेटिव टेस्ट परिणाम हो सकते हैं गलत

Tuesday, May 19, 2020 - 05:02 PM (IST)

लंदनः कोरोना वायरस को रोकने के लिए जहां कई देशों के वैज्ञानिक उपचार ढूंढ रहे हैं वहीं इलके इसके बचाव के लिए बड़े स्तर पर टेस्टिंग भी की जा रही है। दुनिया के कई डाक्टर मरीजों के टेस्ट निवेटिव आने पर राहत जता रहे हैं जबकि नए अध्ययन के बाद अब वैज्ञानिकों का कहना है कि इनमें से निगेटिव मामलों में भी 30 प्रतिशत नतीजे गलत हो सकते हैं। यानी कि जिन्हें वायरस मुक्त घोषित किया गया है उनपर खतरा बरकरार है। वैज्ञानिकों के अनुसार ऐसे लोग जिनमें वायरस का संक्रमण नहीं पाया गया वे भी वायरस फैला सकते हैं ।

 

एक्सपर्ट के अनुसार इसकी वजह गलत स्वैबिंग हो सकती है। स्वस्थ कर्मियों को संभावित मरीजों से स्वैब लेने की ट्रेनिंग दी जाती है जबकि विशेषज्ञ बताते हैं कि उनसे गलतियां हो सकती हैं। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक ब्रिटेन के वैज्ञानिकों का कहना है कि टेस्ट के नतीजों पर भरोसा करना खतरनाक हो सकता है। ब्रिटेन में कोरोना से अब तक 34 हजार से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। वैज्ञानिकों की दलील है कि अगर किसी व्यक्ति के नतीजे निगेटिव भी आए हैं तो उसके लक्षणों की अनदेखी नहीं की जा सकती और उन्हें सेल्फ आइसोलेशन में रहने को कहना चाहिए।

 

इसके साथ ही मंत्रियों को आगाह किया गया है कि देश में एक चौथाई मामलों की अनदेखी हो जाएगी क्योंकि लक्षणों की जो सूची बनाई गई है उसमें कई बात शामिल नहीं हैं। ब्रिटेन के स्वास्थ्य प्रमुखों का कहना है कि मांसपेशियों में दर्द, स्वाद महसूस न होना, सिरदर्द के लक्षणों को कोरोना में शामिल नहीं किया है जो संकट पैदा कर सकता है। ब्रिटेन में अब तक करीब 25 लाख लोगों का टेस्ट किया गया है। इनमें से 2.40 लाख लोग संक्रमित पाए गए हैं।

Tanuja

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