स्कूलों में शुरू होंगी ललित कला की कक्षाएं : वीरभद्र

punjabkesari.in Thursday, May 28, 2015 - 11:29 PM (IST)

शिमला: मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने कहा कि हिमाचल प्रदेश में पारंपरिक कलाआें, हस्तलिपियों व चित्रकलाआें का खजाना है। उन्होंने कहा कि प्रसिद्ध कांगड़ा में लघु चित्रकारी के साथ-साथ राजाआें के समय में प्रदेश में चित्रकारी की पहाड़ी और गुलेर शैली के अतिरिक्त अन्य शैलियां भी फली-फूली हैं। सरकार राज्य में ललित कलाआें को बढ़ावा देने के लिए कुछ महाविद्यालयों के अलावा राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशालाआें में भी ललित कला कक्षाएं शुरू करने पर विचार करेगी। मुख्यमंत्री वीरवार को गेयटी थिएटर में आयोजित 3 दिवसीय कला उत्सव के शुभारंभ अवसर पर बोल रहे थे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार ने राज्य में ललित कला महाविद्यालय स्थापित करने की घोषणा की है। कार्यक्रम के दौरान उन्होंने पेंटिंग कर कला उत्सव का शुभारंभ किया। उन्होंने कहा कि कांगड़ा कलम को पुन: प्रचलित बनाने एवं इसे अधिक सुदृढ़ करने के लिए बहुत से कलाकारों को गुरु शिष्य परंपराआें के अनुरूप इस विधा से जोड़ा जा रहा है। उन्होंने कहा कि संगीत एवं कला एक-दूसरे से जुड़े रहे हैं और दोनों एक साथ चमत्कारिक प्रभाव उत्पन्न करने में समर्थ हैं।

इस मौके पर मुख्यमंत्री ने कला उत्सव में भाग ले रहे राष्ट्रीय पुरस्कारों से नवाजे गए कलाकारों सहित अन्य प्रतिष्ठित कलाकारों को सम्मानित भी किया। हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय के दृश्य एवं ललित कला विभाग के प्राध्यापक प्रो. हिम चैटर्जी ने कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री से विश्वविद्यालयों में ललित कला विषय शुरू करने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि एकांत पहाडिय़ों और वेगवान नदियों की सुन्दरता बहुत से कलाकारों को अपनी आेर आकर्षित करती रही है।


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