स्वतंत्रता सेनानी और उनकी पत्नी ने एक साथ त्यागे प्राण

Friday, Jan 30, 2015 - 11:10 PM (IST)

पालमपुर: इसे विचित्र संयोग कहें या फिर जन्मों तक साथ निभाने का प्रण, सलोह में एक ही दिन दम्पति ने शरीर त्याग कर इसे चरितार्थ किया है। सलोह के रत्न चंद व उनकी धर्मपत्नी शांति देवी ने एक ही दिन कुछ समय के अंतराल में प्राण त्यागे। रत्न चंद (94) स्वतंत्रता सेनानी थे। स्वतंत्रता सेनानी रत्न चंद के प्राण त्यागने के कुछ समय बाद पत्नी ने भी अपने प्राण त्याग कर साथ जीने-मरने की प्रतिज्ञा को पूरा किया।

 

शुक्रवार को पूरे राजकीय सम्मान के साथ स्वतंत्रता सेनानी रत्न चंद व उनकी पत्नी का अंतिम संस्कार उनके पैतृक गांव सलोह में किया गया। दिवंगत दम्पति के पुत्र ने दोनों को मुखाग्रि दी। इस दौरान पुलिस टुकड़ी ने अपने शस्त्र उलटे कर व हवा में फायर कर स्वतंत्रता सेनानी रत्न चंद को सलामी दी। इस अवसर पर उपमंडलाधिकारी नागरिक भूपेंद्र अत्री ने जिला व उपमंडल प्रशासन की ओर से व डीएसपी नवदीप सिंह ने पुलिस प्रशासन की ओर से स्वतंत्रता सेनानी रत्न चंद को श्रद्धांजलि दी।

 

स्वतंत्रता सेनानी रत्न चंद 5 फरवरी, 1940 को ब्रिटिश सेना में भर्ती हुए थे परंतु मातृभूमि के प्रति स्नेह व देश प्रेम के कारण 2 वर्ष के अंतराल के बाद ब्रिटिश सेना को छोड़ स्वतंत्रता संग्राम में योगदान देने के लिए आजाद हिंद सेना में भर्ती हुए, ऐसे में ब्रिटिश सरकार ने उन्हें वर्ष 1945 में गिरफ्तार कर बहादुरगढ़ जेल में डाल दिया। इसके चलते रत्न चंद वर्ष 1946 तक कारावास में रहे। ब्रिटिश सरकार ने उन्हें वर्ष 1946 में सेवा से निष्कासित कर दिया। स्वतंत्रता संग्राम में दिए योगदान के कारण उन्हें ताम्रपत्र से सम्मानित किया गया था। मई, 1921 को जन्मे रत्न चंद ने मिडल तक शिक्षा प्राप्त की थी। बताया जा रहा है कि स्वतंत्रता सेनानी रत्न चंद व उनकी धर्मपत्नी शांति देवी का जन्म भी देसी तिथि के अनुसार एक ही तिथि को हुआ था यद्यपि दोनों के जन्म वर्ष भिन्न-भिन्न थे।

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