Success Story: 22 लाख रुपये पैकेज वाली गूगल की नौकरी छोड़ बन गया IAS, पढ़े एग्जाम रणनीति

punjabkesari.in Thursday, Aug 20, 2020 - 03:59 PM (IST)

नई दिल्ली: हर एक इंसान जिंदगी में मुश्किलों से जूझते हुए किसी न किसी दिन सफलता हासिल करता है। एक ऐसी ही कहानी की बात करने जा रहे है जिसने कड़ी मेहनत के दम पर हरियाणा के जींद निवासी हिमांशु जैन ने सिविल सर्विस एग्जाम पास कर ली है। 

PunjabKesari

जानें क्यों छोड़ी नौकरी
हिमांशु गूगल में 22 लाख के पैकेज पर नौकरी कर रहे थे, लेकिन उनके मन में आईएएस बनने का जुनून सवार था तो उन्होंने सबसे पहले नौकरी छोड़ी और फिर UPSC की तैयारी करने में जुट गए। बता दें कि हिमांशु ने सिविल सर्विस एग्जाम 2016 में 44वां रैंक हासिल किया है।

PunjabKesari

पारिवारिक जीवन 
हिमांशु के पिता पवन जैन दुकानदार हैं। जींद में स्कूलिंग के बाद हिमांशु ने आईआईटी, हैदराबाद से कंप्यूटर में एमटेक की। उसके बाद हैदराबाद में ही गूगल में नौकरी जॉइन कर ली, लेकिन आईएएस अफसर बनने के लिए उन्होंने गूगल की नौकरी छोड़ दी और यूपीएससी परीक्षा की तैयारी में जुट गए। 

PunjabKesari

चाची ने हॉस्पिटल में बिठाकर घंटों पढ़ाया 
हिमांशु ने कहा कि आईएएस की परीक्षा के लिए उनकी चाची मीनाक्षी जैन उन्हें अपने हॉस्पिटल में बिठाकर घंटों पढ़ाती थीं। उनका कहना है कि चाची ने उनके अंदर आईएएस बनने के जज्बे को मजबूत किया, जिसका नतीजा है कि उन्होंने यह एग्जाम पास कर ली। उनके आईएएस बनने का केवल यही मकसद है कि समाज के युवाओं को कोई नई दिशा दे सकें।

PunjabKesari

बचपन के सपने को किया पूरा
खुशी से फूले नहीं समा रहे परिवार का कहना है कि एक दिन हिमांशु के स्कूल के निरीक्षण के लिए डीसी आए। हिमांशु ने क्लास टीचर से पूछा था ये डीसी कैसे बनते हैं। बस उसी दिन हिमांशु ने आईएएस बनने की ठान ली थी और आज उसे पूरा भी कर दिखाया। आईआईटी हैदराबाद से एमटेक करने के बाद हिमांशु को गूगल में मोटे पैकज पर जॉब ऑफर हुई थी, लेकिन उन्होंने अपने बचपन के सपने को ही पूरा करने का सोचा। 

जानें एग्जाम से जुड़े टिप्स (इंटरव्यू सेक्शन)
हिमांशु ने बताया कि उसका इंटरव्यू लगभग 35 मिनट चला था। इंटरव्यू पैनल में 6 लोग थे, जिन्होंने 40 से 50 सवाल पूछे थे। सबसे रोचक सवाल पर बात करते हुए--- 

1. हिमांशु ने बताया कि उससे एक सवाल पूछा गया था कि टेक्नोलॉजी ने आदमी की जिंदगी को आसान बना दिया है या पेचीदा। हिमांशु ने जवाब दिया कि यह इस्तेमाल पर निर्भर करता है कि फायदेमंद है और हानिकारक।

2. नोकिया मार्केट में क्यों नही टिक पाया?
कंपनी वक्त रहते अपने प्रोडक्ट में बदलाव नहीं कर सकी, इसलिए ऐसा हुआ।

3. आपके व्यक्तित्व की क्या विशेषता है?
मैं अपने काम को ईमानदारी से पूरा करने की कोशिश करता हूं।


 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Riya bawa

Related News