Success Story: इस शख्स ने 93 साल की उम्र में पूरी की पढ़ाई की तमन्ना
Thursday, Feb 20, 2020 - 01:26 PM (IST)
नई दिल्ली: कहते है कि पढ़ने की कोई उम्र नहीं होती और इस बात को सच कर दिखाया है 93 साल के युवा ने। दिल्ली में रहने वाले चेन्नई निवासी सीआई शिवासुब्रमण्यम, जो 93 साल के हैं जिन्होंने इग्नू से अपनी मास्टर्स तक की पढ़ाई पूरी की है और उन्हें इस बार के दीक्षांत समारोह में सबसे बुजुर्ग छात्र का खिताब दिया गया है।
जिम्मेदारियों के चलते छूट गई थी पढ़ाई
मूल रूप से तमिलनाडु के कोयंबटूर के रहने वाले सीएल सुब्रह्मण्यम ने बताया कि मां की तबियत खराब रहने की वजह से 12 वीं के बाद पढ़ाई को जारी नहीं रख पाए। घर का खर्च चलाने के लिए गांव में ही छोटी सी नौकरी करनी पड़ी। वक्त के साथ जिम्मेदारियों का दायरा बढ़ता गया, इसलिए वर्ष 1945 में परिवार के साथ दिल्ली आ गए। यहां आकर भारत सरकार के वाणिज्य मंत्रालय में बतौर क्लर्क की नौकरी की। प्रमोशन के लिए कई परीक्षाएं दी। 38 साल की सेवा के बाद 1986 में बतौर निदेशक रिटायर हुए।
वर्ष 2014 शुरू की थी पढ़ाई
सीएल सुब्रह्मण्यम ने बताया कि रिटायर होने से पहले मुझे बैंकॉक में आयोजित सेमिनार में जाने का मौका मिला। इसमें संयुक्त राष्ट्र संघ के अधिकारियों ने भी हिस्सा लिया था। उन्होंने मुझे नौकरी का ऑफर दिया। लगभग सारी प्रक्रिया पूरी हो चुकी थी, लेकिन जब उनको पता चला कि मैंने स्नातक नहीं की है तो नौकरी नहीं मिल पाई। ये चीज मुझे आज भी खलती थी। उन्होंने बताया कि उनके चार बच्चे हैं एक आर्मी में लेफ्टिनेंट जनरल, दो डॉक्टर और कृषि मंत्रालय में है। बच्चों को पढ़ाने के बाद उनके मन में था कि वह भी अपनी पढ़ाई पूरी करें और ग्रेजुएट बने।
सबसे बुजुर्ग छात्र का मिला खिताब
शिवा हमेशा चाहते थे कि वह अपनी पढ़ाई पूरी करें। इसलिए उन्होंने इग्नू से अपनी मास्टर्स तक की पढ़ाई पूरी की है। दीक्षांत समारोह में मौजूद मानव संसाधन एवं विकास मंत्री रमेश पोखरियाल ने शिवासुब्रमण्यम के जज्बे की तारीफ की और उन्हें 90 साल का 'युवा' बताया और सबसे बुजुर्ग छात्र का खिताब भी दिया गया है।