नेट परीक्षा में सिखों को बड़ी राहत, ले जा सकेंगे कड़ा व कृपाण

Friday, May 04, 2018 - 09:43 AM (IST)

नई दिल्ली: दिल्ली उच्च न्यायालय ने नेशनल एलिजिबिलिटी टेस्ट (नेट)में सिख प्रतिभागियों को बड़ी राहत प्रदान की है। सुनवाई के दौरान अदालत ने आगामी 8 जुलाई को होने वाले (नेट) में सिख प्रत्याशियों के लिए नए निर्देश जारी किए हैं। अदालत के निर्देश के मुताबिक (नेट) की परीक्षा में सिख उम्मीदवार कड़ा और कृपाण ले जा सकेंगे। साथ ही अदालत ने शर्त भी रखी है कि सिख उम्मीदवारों को सुरक्षा जांच के मद्देनजर रिपोर्टिंग समय से एक घंटे पहले आना होगा। 
गौरतलब है कि इससे पहले (नेट) की परीक्षा में कृपाण और कड़ा लेकर जाने की अनुमति नहीं थी। यहां पर बता दें कि नेशनल एलिजिबिलिटी टेस्ट (नेट) राष्ट्रीय स्तर पर होने वाली देश की बेहद महत्वपूर्ण परीक्षा है। वर्ष 2018 में यह परीक्षा 8 जुलाई को आयोजित की जाएगी। 

सिलेबस व समय में बदलाव
विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) ने असिस्टेंट प्रोफेसर के लिए अनिवार्य नेशनल एलिजिबिलिटी टेस्ट (नेट)के सिलेबस और परीक्षा के समय में बदलाव किया है। इसके तहत 8 जुलाई को होने वाली परीक्षा में पहली बार यूजीसी नेट का नया पैटर्न लागू होगा। हर साल जनवरी और जुलाई में होने वाली यूजीसी नेट में ट्राईसिटी से करीब 10 हजार और देश भर से 6 लाख स्टूडेंट बैठते हैं। यूजीसी नेट परीक्षा में लड़कियों का ही दबदबा रहता है। जूनियर रिसर्च फैलो (जेआरएफ ) के लिए पहली बार आयु सीमा को दो साल बढ़ा दिया है। स्टूडेंट्स 28 की जगह 30 साल की उम्र तक जेआरएफ नेट परीक्षा के लिए योग्य होंगे। पोस्ट ग्रेजुएट में 55 फीसद अंक पाने वाले ही यूजीसी नेट और जेआरएफ  में बैठ सकते हैं।


यूजीसी नेट में पहले तीन पेपर होते थे। अब विद्यार्थियों को सिर्फ  दो पेपर देने होंगे। परीक्षा में सवालों की संख्या भी कम कर दी गई है। पहले तीनों पेपर में 175 सवाल पूछे जाते थे, जिन्हें कम कर अब 150 कर दिया गया है। पहले पेपर में 50 आब्जेक्टिव प्रश्न होंगे।

pooja

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