नकवी ने मुंबई में स्कूल भवन, लाइब्रेरी, लैब आदि का नींव का पत्थर रखा

Monday, Dec 31, 2018 - 10:10 AM (IST)

मुंबई: केंद्रीय अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने शनिवार को यहाँ कहा कि अल्पसंख्यकों के शैक्षिक सशक्तीकरण से ही उनका ‘राजनैतिक शोषण’ रोका जा सकता है।  बिना किसी भेदभाव के ‘समावेशी-सर्वस्पर्शी विकास’ हमारी सरकार की प्राथमिक्ता है। 

मुंबई में अंजुमन-ए-इस्लाम संस्था द्वारा बांद्रा पश्चिम में गरीब-कमजोर तबके की लड़कियों के लिए चलाये जा रहे डॉ. एमआईजे गल्र्स हाई स्कूल एंड जूनियर कॉलेज के स्कूल भवन, लाइब्रेरी, लैब आदि सुविधाओं का शिलान्यास करते हुए श्री नकवी ने कहा कि पिछले लगभग चार वर्षों में हमारी सरकार ने तीन करोड़ 11 लाख से ज्यादा अल्पसंख्यक समाज के छात्रों-छात्राओं को छात्रवृत्ति दी है, जिनमें लगभग 60 प्रतिशत लड़कियां शामिल हैं।  इस अवसर पर मुंबई भाजपा के अध्यक्ष एवं विधायक आशीष शेलार, अंजुमन-ए-इस्लाम के अध्यक्ष जहीर काकाी, मौलाना आकााद एजूकेशन फाउंडेशन, अल्पसंख्यक मंत्रालय भारत सरकार, के सचिव रिजवानुर रहमान, फाउंडेशन के उपाध्यक्ष  अशफाक सैफी एवं अन्य गणमान्य उपस्थित रहे।

 

 श्री नकवी ने कहा कि इस वर्ष छात्रवृत्ति के लिए मोबाइल एप्प ‘नेशनल स्कॉलरशिप पोर्टल मोबाइल एप्प’ (एनएसपी मोबाइल एप्प) भी शुरू किया गया है जिससे छात्र आसानी से पारदर्शी तरीके से छात्रवृति के लिए आवेदन कर सकते हैं। बिना बिचौलियों के छात्रवृत्ति सीधे छात्रों के बैंक खातों में जा रही है।  श्री नकवी ने कहा कि मोदी सरकार के प्रयासों के उत्साहवर्धक नतीजे सामने आये हैं। अल्पसंख्यक विशेषकर मुस्लिम लड़कियों का स्कूल छोडने का दर जो पहले 70-72 प्रतिशत था, वह अब घटकर लगभग 35 प्रतिशत रह गया है। हम आने वाले वर्षों में इस दर को शून्य प्रतिशत करने की योजना के साथ काम कर रहे हैं। श्री नकवी ने कहा कि शिक्षा के माध्यम से सशक्तीकरण एक कारगर कदम है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार समाज के कमजोर-पिछड़े-अल्पसंख्यक तबके के शैक्षिक-सामाजिक सशक्तिकरण की दिशा में सफलता के साथ आगे बढ़ रही है। श्री नकवी ने कहा कि अल्पसंख्यक मंत्रालय ने ‘3श्व-एजूकेशन, एम्प्लॉयमेंट, एम्पावरमेंट’ के संकल्प के साथ काम किया है। पिछले लगभग दो वर्ष में देश भर में मदरसों सहित सभी अल्पसंख्यक समुदाय के हजारों शैक्षिक संस्थानों को ‘3 -टीचर, टिफिन, टॉयलेट’ से जोड़ कर उन्हें मुख्यधारा की शिक्षा प्रणाली में शामिल किया गया है। सीखो और कमाओ, उस्ताद, गरीब नवाज कौशल विकास, नयी मंजिल आदि रोजगारपरक कौशल विकास योजनाओं के माध्यम से पांच लाख 43 हजार युवाओं को कौशल विकास और रोजगार के अवसर मुहैय्या कराये गए हैं। ‘हुनर हाट’ के माध्यम से पिछले दो वर्ष में एक लाख 50 हजार से ज्यादा अल्पसंख्यक समुदाय के दस्तकारों/ शिल्पकारों को न केवल रोजगार-रोजगार के अवसर उपलब्ध कराये गए हैं बल्कि उन्हें राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय बाजार-मौका भी मुहैया कराया गया है।  नकवी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अल्पसंख्यकों के लिए देश के सिर्फ 100 जिलों तक सीमित विकास योजनाओं का विस्तार ‘प्रधानमंत्री जन विकास कार्यक्रम’ के अंतर्गत 308 जिलों में कर दिया है। आजादी के बाद पहली बार देश के 308 जिलों में अल्पसंख्यक तबकों और विशेषकर लड़कियों की शिक्षा के लिए मूलभूत सुविधाओं के वास्ते युद्धस्तर पर काम किया जा रहा है। ‘प्रधानमंत्री जन विकास कार्यक्रम’ के तहत लड़कियों के शैक्षिक सशक्तीकरण एवं रोजगारपरक कौशल विकास को प्राथमिकता देते हुए स्कूल, कॉलेज, पॉलिटेक्निक, गल्र्स हॉस्टल, आईटीआई, कौशल विकास केंद्र आदि का उन वंचित इलाकों में निर्माण कराया जा रहा है जहाँ आजादी के बाद से यह सुविधाएँ नहीं पहुँच पायी। 

pooja

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