दुनिया के बेस्ट बी स्कूलों में दाखिले के लिए दे यह टेस्ट
punjabkesari.in Thursday, Jun 01, 2017 - 07:30 PM (IST)

नई दिल्ली : हर किसी का सपना होता है कि वह जिस स्कूल से अपनी शिक्षा ग्रहण करें वह दुनिया के टॉप स्कूलों में से हो। अगर आप वर्ल्ड के टॉप बिजनेस स्कूलों में एडमिशन लेने का ख्वाब संजो रहे हैं इसके लिए बस आपको थोड़ी सी मेहनत करनी पड़ेगी। हम आपको बता रहे हैं इन स्कूलों में दाखिले के लिए जाने वाले एेसे टेस्ट के बारे में जिनको पास करके आप अपने सपने को साकार कर सकते हैं। पहला जीमैट यानि Graduate Management Admission Test - GMAT और दूसरा जीआरई Graduate Record Examination - GRE। बहुत से स्टूडेंटस जीमैट और जीआरई की अहमियत और मान्यता को लेकर कंफ्यूज रहते हैं। दरअसल जीमैट एक इंटरनेशनल लेवल का टेस्ट है जिसे देकर आप दुनिया के प्रतिष्ठित बिजनेस स्कूलों के एमबीए, मास्टर ऑफ अकाउंटेंसी और मास्टर ऑफ फाइनेंस जैसे मैनेजमेंट कोर्सेज में एडमिशन ले सकते हैं।
वहीं जीआरई एक जनरल एप्टीट्यूड टेस्ट है जिसके जरिए सभी पोस्ट ग्रेजुएट और डॉक्टोरल प्रोग्राम में एडमिशन लिया जा सकता है। ज्यादातर छात्र, जो कि विदेश से एमबीए करना चाहते हैं, जीमैट परीक्षा ही देते हैं। जीमैट एमबीए के लिए एक स्पेशलाइज्ड टेस्ट है।
क्या है दोनों में फर्क
जीमैट और जीआरई दोनों ही एक तरह से एप्टीट्यूड टेस्ट है। लेकिन इन दोनों परीक्षाओं की प्रकृति और सामग्री अलग-अलग होती है। जीमैट टेस्ट का स्कोर 5 साल के लिए मान्य रहता है। साल में किसी भी समय आप www.mba.com पर जाकर इसके लिए रजिस्ट्रेशन करा सकते हैं। दुनिया भर में इसके 600 टेस्ट सेंटर हैं। जीमैट को Graduate Management Admission Council - GMAC आयोजित करती है जबकि जीआरई को Educational Testing Service - ETS । जीमैट का स्कोर 82 देशों के करीब 1600 संस्थान स्वीकार कर रहे हैं। भारत के 90 से ज्यादा बी-स्कूल जीमैट स्कोर के आधार पर एडमिशन देते हैं।
जीआरई का बढ़ता चलन
कुछ सर्वेक्षणों के मुताबिक पिछले कुछ वर्षों में मैनेजमेंट कोर्सेज के लिए जीआरई देने वाले छात्रों की संख्या में इजाफा हुआ है। ब्रिटेन और अमेरिका में बड़ी तादाद में बी-स्कूल जीआरई में हासिल किए अंकों के आधार पर ही दाखिला दे रहे हैं। वैसे तो जीआरई कंप्यूटर और पेपर-बेस्ड दोनों फॉरमेट में करवाया जाता है लेकिन भारत में यह सिर्फ कंप्यूटर बेस्ड फॉरमेट में ही होता है। दुनिया भर के 1200 से ज्यादा संस्थान इस टेस्ट के स्कोर को स्वीकार करते हैं। इसे भी साल में अधिकतम पांच बार दिया जा सकता है। दो प्रयासों में कम से कम 21 दिन का गैप जरूरी हो। इसके लिए आप www.ets.org/gre पर लॉग इन कर सकते हैं।
कौन दे सकता हैं ये टेस्ट
वैसे तो इन परीक्षाओं को ग्रजेुएट उम्मीदवार बैठ सकते हैं लेकिन विभिन्न संस्थानों का चयन का तरीका एक-दूसरे से अलग हो सकता है। एक साल में 5 बार जीमैट दिया जा सकता है। लेकिन दो प्रयासों के बीच में 16 दिन का अंतराल होना जरूरी है।