प्रेम के मसीहा ने बदला अपना रूप, प्रेमियों और रसिकों के लिए आएगी गुड न्यूज

Wednesday, Feb 07, 2018 - 10:24 AM (IST)

भारतीय ज्योतिष में शुक्र को प्रेम, भोग, विलासिता, जीवनसाथी तथा दैहिक और संसारिक सुख का स्वामी माना गया है। वैलेंटाइन सप्ताह आरंभ होने के कारण प्रेम का खुमार संपूर्ण विश्व की हवा में है। हर कुंवारा या कुंवारी अपने लिए सुंदर जीवनसाथी और प्रेमी की कामना रखता है। आज के नवयुग में अरेंज मैरिज के बदले लव मैरिज का प्रचलन बढ़ गया है। हर छोटे-बड़े शहर में प्रेम विवाह आम बात हो गई है। हालांकि वैलेंटाइन डे और प्रेम विवाह पाश्चात्य का हिस्सा है परंतु समय के साथ-साथ भारतीय संस्कृति ने इसे अपना लिया है।


जालंधर से अजमेर हो या मैसूर से गुवाहाटी हर जगह प्रेम की बहार फैल चुकी है। उसी दौरान मंगवलार दिनांक 6 फरवरी 2018 को दोपहर 12 बजकर 10 मिनट पर प्रेम के मसीहा शुक्र अपनी राशि परिवर्तन कर चुके हैं। शुक्र अपने मित्र और शिष्य शनि की राशि मकर से निकल कर शनि की ही राशि कुंभ में आ गए हैं। कालपुरूष सिद्धांत के अनुसार शुक्र काल पुरुष के दूसरे भाव का प्रतिनिधित्व करते हैं। शुक्र के ग्यारहवें भाव अर्थात कुंभ में आना स्वयं में बहुत बड़ा बदलाव है। 


कुंभ में बैठकर शु्क्र कालपुरूष की पंचम राशि सिंह को देखते हैं। जिससे प्रेमियों को खुशखबरी मिलेगी। दोगुने फायदे वाली बात ये है की शुक्र का परिगमन मंगल के नक्षत्र घनिष्ठा में चल रहा है। मंगल का नक्षत्र होने के कारण ये योग प्रेमियों और रसिक जीवन जीने वाले युवक-युवतियों के लिए संपूर्णता से आनंद के संकेत दे रहा है। 12 फरवरी के दिन रविवार 11 फरवरी 2018 को तकरिबन रात्रि 9 बजे मंगल शुक्र के नक्षत्र को छोड़कर राहु के नक्षत्र शतभिषा में आ जाएगा। राहू अनैतिक कार्य अंतर जातिय विवाह तथा अंतरंग संबंधों को संबंधित करता है। ये योग प्रेमियों और रसिक व्यक्तियों के भाग खोेल देगा।

आचार्य कमल नंदलाल
ईमेल: kamal.nandlal@gmail.com

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